सरगुजा- छत्तीसगढ़ दौरे पर आए बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने सार्वजनिक तौर पर बीजेपी सरकार और संगठन की जमकर पीठ थपथपाई, लेकिन भीतरखाने से निकल रही खबरों पर यकीन करें तो कोरग्रुप की बैठक के दौरान अपनी तासीर के अनुरूप ही नजर आए.
खबर है कि मिशन 65 के लक्ष्य को पूरा करने का जो टास्क अमित शाह ने प्रदेश संगठन को दिया था, उसकी धीमी गति को लेकर जमकर नाराजगी जताई है. बीजेपी के उच्च पदस्थ सूत्रों की मानें तो अमित शाह ने मिशन 65 के लक्ष्य को पूरा करने जी जान से जुटने की हिदायत दी है. उन्होंने दो टूक कहा है कि विधायक और नेताओं को अपना प्रदर्शन सुधारना होगा. काम में तेजी लानी होगी. बताया जाता है कि शाह ने सख्त लहजे में कह दिया है कि विधायकों और नेताओं को उनके प्रदर्शन के आधार पर ही टिकट मिलेगा.
मंत्री- विधायकों को चेतवनी
प्रदेश संगठन के तमाम आला नेताओं की बैठक लेते हुए अमित शाह ने जून के दौरे के दौरान दिए गए टास्क के क्रियान्वयन की समीक्षा की. चर्चा है कि अमित शाह ने मंत्री, विधायकों,नेताओं के विवादित बयानों पर गहरी नाराजगी जताई है. उन्होंने हिदायत देते हुए कहा है कि अनावश्यक चर्चा और बयानबाजी से बाज आ जाएं. इससे पार्टी की छवि पर असर पड़ता है.
सोशल मीडिया पर हो सक्रिय
बैठक के दौरान अमित शाह की सर्वाधिक दिलचस्पी बीजेपी आईटी सेल के कामकाज को लेकर दिखी. यही वजह रही कि शाह की बैठक में बीजेपी आईटी सेल के कामकाज पर आधारित प्रेजेंटेशन भी शाह ने देखा. आईटी सेल की मौजूदा कार्यप्रणाली पर अमित शाह संतुष्ट नजर आए, लेकिन उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि सत्ता और संगठन के कामकाज को सोशल मीडिया पर ज्यादा से ज्यादा प्रचारित किया जाए.