रायपुर. कर चोरों के खिलाफ और विशेष रूप से फर्जी बिलिंग के कारोबार में शामिल करदाताओं के खिलाफ सीजीएसटी रायपुर सख्त कार्रवाई कर रहा है. आज केंद्रीय जीएसटी टीम ने फर्जी बिलिंग के मामले में संदीप बंसल को गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया. सीजेएम अदालत ने आरोपी की न्यायिक हिरासत प्रदान की है. बता दें कि 2017 में जीएसटी कानून लागू होने के बाद से फर्जी बिलिंग के संबंध में सीजीएसटी रायपुर आयुक्तालय अब तक 16 लोगों को गिरफ्तार कर चुका है.

दिग्विजय सिंह, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, रायपुर ने बताया, हाल ही में सीजीएसटी रायपुर द्वारा विशिष्ट खुफिया जानकारी, डेटा विश्लेषण और व्यापक निगरानी के आधार पर फर्जी बिल बनाने और केवल इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) पारित करने के उद्देश्य से बनाए गए 13 फर्जी फर्मों के एक नेटवर्क का भंडाफोड़ किया गया था. रैकेट के मास्टरमाइंड हेमंत कसेरा को भी 4 अप्रैल को गिरफ्तार कर लिया गया था. आगे जांच करने पर यह पाया गया कि हेमंत कसेरा द्वारा संचालित फर्मों द्वारा इस तरह की फर्जी आईटीसी की बड़ी मात्रा रायपुर में स्थित मेसर्स बंसल ट्रेडर्स, मेसर्स ओम ट्रेडर्स और मेसर्स एचएमएस ट्रेडर्स को पारित किया गया है. तदनुसार तत्पर कार्रवाई की गई और उपरोक्त फर्मों के व्यावसायिक परिसरों की तलाशी ली गई.

मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने बताया, जांच करने पर पता चला कि इन 3 फर्मों का नियंत्रण और प्रबंधन संदीप बंसल का था. दस्तावेजों, खातों और रिटर्न की गहन जांच के बाद यह पाया गया कि बंसल ने न केवल हेमंत कसेरा से बल्कि दिल्ली की 25 से अधिक फर्जी फर्मों से भी फर्जी बिल खरीदे हैं. तथ्यों और सबूतों के आधार पर कड़ाई से पूछताछ करने पर संदीप बंसल ने कर चोरी के इरादे से फर्जी बिल खरीदने और 6.94 करोड़ रुपये की फर्जी आईटीसी का लाभ उठाने की बात स्वीकार की.

छतीसगढ़ की खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक 
मध्यप्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
उत्तर प्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
दिल्ली की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
पंजाब की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
English में खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
खेल की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
मनोरंजन की खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक