निशांत राजपूत, सिवनी। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार कोरोना की तीसरी लहर से बचाने के लिए वैक्सीन महाअभियान चला रही है। वैक्सीनेशन में रिकॉर्ड बनाने के दावे किए जा रहे हैं। इन दावों के बीच कुछ ऐसे मामले सामने आ रहे हैं जो कि इस महाअभियान को न सिर्फ पलीता लगा रहे हैं बल्कि रिकॉर्ड के दावों पर भी सवाल उठा रहे हैं। मामला सिवनी जिले का है। यहां एक ऐसे व्यक्ति को वैक्सीनेशन का सर्टीफिकेट जारी कर दिया गया, जिसने दूसरा डोज लगाया ही नहीं।
सिवनी के ग्राम घंसौर पिपरिया कला जनपद केवलारी में विक्की साहू नाम के एक युवक को 1 जुलाई 2021 को कोविशील्ड का पहला डोज लगाया गया। 29 अक्टूबर को एक और मैसेज आया कि उसे दूसरा डोज भी लग गया। और तो और उसका सर्टिफिकेट भी जनरेट कर दिया गया। विक्की साहू ने इसके लिए स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है। इसके साथ ही उन्होंने दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की भी मांग की है।
वहीं मामला सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार बगलें झांकने में लगे हुए हैं। सीएमएचओ राजेश श्रीवास्तव इसे टेक्निकल एरर बता रहे हैं।
ऐसा नहीं कि प्रदेश में यह पहला मामला है, इससे पहले भी ऐसे कई मामले सामने आ चुके हैं, जिसमें बगैर टीका लगवाए लोगों के पास वैक्सीनेशन के मैसेज आ रहे हैं। ऐसे में सवाल तो यही उठता है कि क्या स्वास्थ्य विभाग टारगेट पूरा करने और रिकॉर्ड बनाने के चक्कर में जानबूझकर ऐसा कर रहा है।