सुनील पासवान, बलरामपुर. भूख हड़ताल में बैठे किसान कि घर लौटते वक्त सड़क हादसे में मौत हो गई. हादसा उस वक्त हुआ जब किसान भूख हड़ताल में बैठने के बाद उसे सूचना मिली कि घर में कोई सदस्य बीमार है. सूचना पाकर किसान अपने घर की ओर जा रहा था. तभी जाबर गांव के पास दो मोटरसाइकिल आपस में भिड़ंत हो गई. भिड़ंत इतनी तेज थी कि मोटरसाइकिल के परखच्चे उड़ गए. किसान घटनास्थल पर ही बेहोश हो गया. बेहोश की हालात में उसे जब जिला हॉस्पिटल लाया जा रहा था. तभी उसने रास्ते में ही दम तोड़ दिया.
बताया जा रहा है किसान का नाम रामदास है. रामदास की कोटपाली व्यपवर्तन परियोजना में लगभग डेढ़ एकड़ भूमि अधिग्रहित की गई थी और उसे अभी तक मुआवजा नहीं मिल पाया था. बलरामपुर ब्लॉक की दो बड़ी सिंचाई परियोजना कोटपाली व्यपवर्तन और तुर्रापानी जलाशय निर्माण के लिए अधिग्रहित की गई.
सैकड़ों किसानों का मुआवजा उन्हें आज तक नहीं मिल पाया है. जिसको लेकर कई बार स्थानीय प्रशासन को ज्ञापन सौंपकर अवगत कराया गया, लेकिन किसी प्रकार का कोई पहल नहीं होता देख किसानों ने जिला पंचायत सदस्य धीरज सिंह देव एवं विनय पैकरा के नेतृत्व में अपने हक की लड़ाई लड़ने को मजबूर हुए और भूख हड़ताल पर बैठ गए. भूख हड़ताल पर बैठे किसानों ने मृतक किसान को श्रद्धांजलि दी और उन्होंने कहा जब तक उनका हक नहीं मिलता तब तक वह अपने हक के लिए लड़ते रहेंगे.