अजयारविंद नामदेव, शहडोल। जिले में पिछले पांच दिनों से जारी कड़कड़ाती ठंड अब जानलेवा साबित होने लगी है। शहडोल लगातार प्रदेश का सबसे ठंडा जिला बना हुआ है, जहां पारा लुढ़कते हुए 10 दिसंबर को 3.0 डिग्री तक पहुंच गया। गिरते तापमान के कारण लोग अलाव, अंगीठी और गर्म कपड़ों का सहारा ले रहे हैं, लेकिन यही कोशिश एक बुजुर्ग के लिए मौत का कारण बन गई।
जयसिंह नगर थाना क्षेत्र के अंमझोर मौहार लटोला में 62 वर्षीय ईश्वराधीन रैदास ठंड से राहत पाने के लिए अपने खपड़ैल वाले कच्चे मकान में रात में अपनी खाट के नीचे अंगीठी जलाकर अकेले सो गए थे, देर रात अंगीठी से उठी चिंगारियाँ बिस्तर तक पहुंचीं और देखते ही देखते खाट व बिस्तर में आग लग गई। धीरे-धीरे आग ने पूरे कमरे को अपनी चपेट में ले लिया, बुज़ुर्ग गहरी नींद से उठ भी नहीं पाए और धधकती आग में पूरी तरह जलकर खाक हो गए।
सुबह जब मृतक के बेटे मुन्ना लाल रैदास और परिवार के सदस्यों ने कमरे से धुआं निकलते देखा, तो अंदर पहुंचे। अंदर का नज़ारा भयावह था। खाट, बिस्तर और पूरा कमरा राख हो चुका था। ईश्वराधीन रैदास का शरीर भी पूरी तरह जल चुका था। परिजनों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी।
गौरतलब है कि एक दिन पहले ही बुढ़ार में कड़ाके की ठंड से एक बछड़े की मौत का मामला सामने आया था। बीते पांच दिनों में शहडोल का तापमान 4.0, 4.6, 4.4, 4.7 और अब 3.0 डिग्री दर्ज किया जा चुका है। लगातार गिरते तापमान ने जिले को ठिठुरन की गिरफ्त में ले लिया है। लोग सहमे हैं, और प्रशासन बार-बार अलाव जलाने व सावधानी बरतने की अपील कर रहा है।
थाना प्रभारी अजय बैगा ने बताया कि मृतक को मिर्गी बीमारी से ग्रसित था। प्रथम दृष्टया वृद्ध की मौत अंगूठी की लपटें खाट में लगने के कारण हुई है। पुलिस ने पंचनामा तैयार कर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
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