Foreign Exchange Reserves: देश का विदेशी मुद्रा भंडार पहली बार 700 अरब डॉलर के आंकड़े को पार कर गया है. 27 सितंबर को यह पिछले सप्ताह 12.58 अरब डॉलर बढ़कर 704.885 अरब डॉलर (करीब 59 लाख करोड़ रुपये) के नए सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गया.

पिछले सप्ताह यह राशि 692.296 अरब डॉलर के सर्वकालिक उच्च स्तर पर थी. यह मील का पत्थर पार करने वाला भारत दुनिया का चौथा देश बन गया है. यह जानकारी भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने दी.

शुक्रवार को आरबीआई के आंकड़ों के अनुसार, भारतीय विदेशी मुद्रा का सबसे बड़ा हिस्सा 616.154 अरब डॉलर के साथ विदेशी मुद्रा परिसंपत्तियां (एफसीए) है. भारत का स्वर्ण भंडार वर्तमान में 65.796 अरब डॉलर है.

अनुमान के अनुसार, भारत का विदेशी मुद्रा भंडार अब एक साल से अधिक के आयात को कवर करने के लिए पर्याप्त है.

पिछले साल 58 बिलियन डॉलर की बढ़ोतरी हुई थी (Foreign Exchange Reserves)

वर्ष 2023 में भारत ने अपने विदेशी मुद्रा भंडार में करीब 58 बिलियन डॉलर जोड़े. जबकि 2022 में 71 बिलियन डॉलर की गिरावट देखी गई.

विदेशी मुद्रा भंडार का स्टॉक घरेलू आर्थिक गतिविधियों को वैश्विक झटकों से बचाने में मदद करता है.

विदेशी मुद्रा केंद्रीय बैंक या मौद्रिक प्राधिकरण की एक संपत्ति है

विदेशी मुद्रा भंडार किसी देश के केंद्रीय बैंक या मौद्रिक प्राधिकरण द्वारा रखी जाने वाली संपत्ति है. देश का केंद्रीय बैंक अमेरिकी डॉलर, यूरो, जापान की मुद्रा येन और पाउंड स्टर्लिंग जैसी मुद्राओं को विदेशी मुद्रा भंडार में रखता है.