रायपुर- पूर्व पीडब्ल्यूडी मंत्री राजेश मूणत ने कहा है कि नवा रायपुर में बनाए जाने वाले छत्तीसगढ़ विधानसभा के नए भवन का शिलान्यास- भूमिपूजन सवालों के घेरे में है. इसकी टेंडर प्रक्रिया अब तक शुरू नहीं की गई है, न ही बजट का आबंटन किया गया है. उन्होंने कहा कि कोरोना जैसी वैश्विक महामारी के बीच यह भूमिपूजन सरकार की संवेदनशीलता पर सवाल उठा रहा है. भवन बनाना ही है, तो कुछ वक्त के लिए रूका जा सकता था, लेकिन राष्ट्रीय नेतृत्व को खुश करने के लिए शिलान्यास-भूमिपूजन का कार्यक्रम संपन्न करा दिया गया.
राजेश मूणत ने कहा कि कोरोना संकट की दलील देकर सरकार कई अति आवश्यक जनहित कार्यों को पैसों की कमी बताकर रोक रही है, लेकिन जिस भवन के निर्माण के लिए बगैर ड्राइंग-डिजाइन फाइनल किए, बगैर टेंडर प्रक्रिया शुरू किए, सिर्फ नए भवन की तस्वीर का एक हिस्सा दिखाकर कार्यक्रम आयोजित करा दिया जाना, राज्य की जनता की आंखों में धूल झोंकने जैसा काम है. उन्होंने कहा कि ऐसे सैकड़ों जनहित के काम अभी राज्य में अधूरे पड़े हैं, जिसे शुरू किया जा चुका है, लेकिन देरी होने से उसका बजट बढ़ गया. ऐसे अधूरे जनहित के कार्य को प्राथमिकता के साथ पूरा किया जाना चाहिए. यह वर्तमान समय की मांग भी है.
पूर्व मंत्री ने कहा कि सिर्फ सुर्खियां बटोरने के लिए इवेंट मैनेजमेंट करना अब इस सरकार की आदत बन गई है. उन्होंने कहा कि प्रोटोकाॅल में वरिष्ठता क्रम में मुख्यमंत्री का स्थान सातवां होता है, जबकि एक सांसद का 21 वां फिर भी मानदंड को धता बता कर किसी दूसरे राज्य के सांसद को मुख्य अतिथि बनाकर शिलान्यास कराना राज्य के मुखिया की गरिमा को भी खंडित करने जैसा है. मूणत ने कहा कि सत्ता में आने के बाद से अब तक सरकार ने एक भी निर्माण कार्य को समय पर पूरा कर लोकार्पित नहीं किया है.
इधर पीडब्ल्यूडी मंत्री ताम्रध्वज साहू बोले….
राजेश मूणत के आरोपों के बीच पीडब्ल्यूडी मंत्री ताम्रध्वज साहू ने कहा है कि हमारे पास नक्शा, डिजाइन मौजूद है. कुछ जरूरी संशोधन हैं, जिन्हें आगे भी कियाजा सकता है. विधानसभा का मानसून सत्र चल रहा था, सभी विधायकों की यहां मौजूदगी थी, आगे पितृपक्ष भी शुरू हो रहा था, लिहाजा भूमिपूजन कार्यक्रम आयोजित किया गया. टेंडर का सवाल नहीं है, टेंडर हो जाएगा. नए भवन के लिए बजटीय प्रावधान कर दिए गए हैं.
51 एकड़ में बनाया जा रहा छत्तीसगढ़ विधानसभा का नया भवन
छत्तीसगढ़ का नया विधानसभा भवन का मंत्रालय महानदी एवं इन्द्रावती भवन के बीच पिछले हिस्से में 51 एकड़ जमीन पर बनाया जा रहा है. नया भवन 52 हजार 497 वर्ग मीटर में होगा। भवन में 90 विधायकों की बैठक क्षमता होगी. इसमें अध्यक्षीय दीर्घा, अधिकारी दीर्घा, प्रतिष्ठित दर्शक दीर्घा, पत्रकार दीर्घा एवं दर्शक दीर्घा का निर्माण किया जाएगा. विधानसभा अध्यक्ष, मुख्यमंत्री एवं मंत्रियों, नेता प्रतिपक्ष एवं उपाध्यक्ष और मुख्य सचिव तथा विधानसभा के प्रमुख सचिव, सचिव एवं अन्य सचिव के लिए कक्ष, मीटिंग हॉल एवं स्टाफ कक्षों का निर्माण किया जाएगा. भवन में विभिन्न समिति कक्षों का निर्माण, पुस्तकालय, एलोपैथिक, होम्योपैथिक एवं आयुर्वेदिक औषधालय, पोस्ट ऑफिस, रेल्वे रिजर्वेशन काऊंटर एवं बैंक के लिए भी कक्षों का निर्माण होगा. विधानसभा के चारों ओर सड़क निर्माण, वृक्षारोपण सहित सौन्दर्यीकरण का कार्य किया जाएगा.