पटना। गैंगस्टर से राजनेता बने आनंद मोहन सिंह आज सहरसा जेल से रिहा हो गए. जेल अधिकारी ने इस बात पुष्टि की. आनंद मोहन की रिहाई पर गोपालगंज में मारे गए तत्कालीन डीएम जी कृष्णैया की पत्नी और बेटी के साथ आंध्र प्रदेश आईएएस एसोसिएशन ने विरोध जताते हुए फैसले पर पुनर्विचार करने की मांग की है.

बता दें कि बिहार सरकार ने हाल ही में आनंद मोहन सहित 27 दोषियों को रिहा करने की अनुमति देते हुए जेल नियमों में संशोधन किया था. आनंद मोहन 1994 में गोपालगंज के तत्कालीन जिलाधिकारी जी कृष्णैया की हत्या के मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहा था. इस फैसले से उसे ताउम्र जेल में रहने से छूट मिल गई.

मारे गए आईएएस जी कृष्णैय्या की पत्नी और बेटी.

वहीं दूसरी ओर हैदराबाद में निवासरत जी कृष्णैया की पत्नी उमा देवी ने एक न्यूज एजेंसी को दिए अपने बयान में कहा कि जनता आनंद मोहन की रिहाई का विरोध करेगी, उसे वापस जेल भेजने की मांग करेगी. उन्हें रिहा करना गलत फैसला है. सीएम को इस तरह की चीजों को बढ़ावा नहीं देना चाहिए. अगर वह (आनंद मोहन) भविष्य में चुनाव लड़ेंगे तो जनता को उनका बहिष्कार करना चाहिए. मैं उन्हें (आनंद मोहन) वापस जेल भेजने की अपील करती हूं.

वहीं जी कृष्णैया की बेटी जी पद्मा ने भी अपनी मां का समर्थन करते हुए कहा कि आनंद मोहन सिंह का आज जेल से छूटना हमारे लिए बहुत दुख की बात है. सरकार को इस फैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए. मैं नीतीश कुमार से अनुरोध करता हूं कि इस फैसले पर दोबारा विचार करें. इस फैसले से उनकी सरकार ने एक गलत मिसाल कायम की है. यह सिर्फ एक परिवार के लिए नहीं बल्कि पूरे देश के लिए अन्याय है. हम इस फैसले के खिलाफ अपील करेंगे.

जी कृष्णैया की पत्नी और बेटी के अलावा आंध्र प्रदेश के आईएएस एसोसिएशन ने भी गोपालगंज के पूर्व जिलाधिकारी जी कृष्णैया की हत्या के दोषियों की रिहाई पर आपत्ति जताई है, और बिहार सरकार से अपने फैसले पर पुनर्विचार करने की अपील की है.

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