रायपुर. छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेशवासियों को राजस्व मामले में राहत पहुंचाने के लिए अहम फैसला लिया है. राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा की पहल पर राजस्व विभाग ने भू-स्वामियों की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए अब पटवारी रिकार्ड में दर्ज त्रुटियों का निराकरण करने के लिए तहसीलदारों को अधिकृत किया है. अब राज्य के भू-स्वामियों को पटवारी रिकार्ड में त्रुटियों में सुधार के लिए अब भटकना नहीं पड़ेगा. इससे पहले अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को भू-स्वामियों के पटवारी रिकार्ड के त्रुटियों में सुधारने के लिए प्राधिकृत किया गया था.
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मंशानुरूप राजस्व रिकार्ड में त्रुटि सुधार के आवेदनों पर त्वरित कार्यवाही की जाएगी और इसके लिए तहसीलदारों को जिम्मेदारी सौंपी गई है. छत्तीसगढ़ राज-पत्र में प्रकाशित अधिसूचना के अनुसार विशेष सचिव राजस्व एवं आपदा प्रबंधन ने छत्तीसगढ़ भू-राजस्व संहिता, 1959 (क्र. 20 सन् 1959) की धारा 24 की उप-धारा (1) द्वारा प्रदत्त शक्तियों को प्रयोग में लाते हुए, राज्य सरकार द्वारा उक्त संहिता की धारा 115 के अधीन तहसीलदार को 5 अधिकार दिए गए हैं.
तहसीलदारों को दी गई 5 शक्तियां:
1. स्वामी, उसके पिता/पति के नाम/उपनाम, जाति, पते में लिपिकीय त्रुटि सुधार करना
2. कैफियत कॉलम में की गई त्रुटिपूर्ण प्रविष्टि में सुधार करना
3. त्रुटिवश जोड़े गये खसरों को पृथक करना
4. भूमि के सिचित/असिंचित होने संबंधी प्रविष्टि में सुधार करना
5. भूमि के एक फसली, बहु फसली की प्रविष्टि में त्रुटि सुधार करना.
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