नई दिल्ली. केंद्र सरकार ने पहले ही पुरानी निजी गाड़ियां और डीजल से चलने वाली गाड़ियों को एक तय सीमा के बाद चलाने पर रोक लगा दी थी. अब सरकारी गाड़ियों का नंबर आने वाला है. केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने इस संबंध में ऐलान कर दिया है. उन्होंने कहा है कि सभी सरकारी गाड़ियों को 15 साल के बाद नहीं चलाया जाएगा और इस समय के पूरा होने के बाद इन गाड़ियों को स्क्रैप कर दिया जाएगा.
ये नियम सभी राज्यों में लागू किए जाएंगे, जिसके तहत 15 साल से पुरानी सरकारी बसें, ट्रक और कारों को चलाने पर रोक लगा दी गई है. बता दें कि इन गाड़ियों को स्क्रैपेज पॉलिसी (scrap policy) के तहत नष्ट किया जाएगा और संबंधित सरकारी विभाग इन्हे नष्ट करने की जिम्मेदारी उठाएंगे.
1 अप्रैल से बंद होगी डीजल गाड़ी की बिक्री
सरकारी वाहनों के लिए लाए गए इस नियम को स्क्रैपेज पॉलिसी के तहत लाया गया है. इस नियम में दिल्ली जैसी जगहों पर 10 साल पुरानी डीजल गाड़ियों को चलाने पर प्रतिबंध है. वहीं, पेट्रोल गाड़ियों की लिमिट 15 साल तक है. इसके बाद इन गाड़ियों को स्क्रैप करना होगा. अगर आपकी गाड़ी इतनी पुरानी नहीं भी है तो नए एमिशन नॉर्म्स के तहत 1 अप्रैल 2023 से डीजल वाली गाड़ियों की बिक्री बंद हो जाएगी. इसमें बीएस 6 स्टेज 2 के नियमों को पूरा नहीं करने वाली गाड़ियों को बेचने की मनाही है और नियम के उल्लंघन पर जुर्माना भरना पड़ सकता है. नए नियमों के तहत ज्यादा फ्यूल एफिशिएंट इंजनों को लाया जा रहा है, जिससे CO2 उत्सर्जन को कम किया जा सकेगा.
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