कर्ण मिश्रा, ग्वालियर। मध्य प्रदेश के ग्वालियर जिले में प्रदेश में सबसे ज्यादा बंदूक के लाइसेंस है। इसी इलाके में एक बड़ा फॉरेस्ट एरिया भी आता है। जहां काफी तादात में वन्य जीव है। लिहाजा इन क्षेत्र में जानवरों का शिकार न हो, इसके लिए लाइसेंसी हाथियार लेने की ख्वाइश रखने वाले लोगों के लिए आदेश जारी हुआ है। अब फॉरेस्ट रेंज के करीब वाले 151 गांव के आवेदकों को वन विभाग की एनओसी लेनी होगी।

ये सारे गांव घाटीगांव संरक्षित क्षेत्र में आते है और वहां पर जानवर भी है। इस कारण इनके 10 किलोमीटर के क्षेत्र में अब हथियार लाइसेंस जारी करते वक्त एनओसी लेना अनिवार्य कर दिया गया है। जिले में कुल 537 गांव है। जिन गांवों में एनओसी की व्यवस्था की गयी है। वहां से सबसे ज्यादा बंदूक के लाइसेंस के आवेदन आये है।

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दरअसल, मध्य प्रदेश सरकार ने वन मंडलों में लगातार हो रहे जंगली जानवरों के शिकार पर रोक लगाने के लिए ये कदम उठाया है। वन्यजीवों की सुरक्षा हेतु हथियार का लाइसेंस लेने वालों के लिए वन विभाग ने एनओसी जारी करने की शर्त रखी है।

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इससे वन्य प्राणियों को बड़ी राहत मिलने के साथ हथियारशुदा लोगों का डाटा भी वन मंडल में रहेगा। जिससे शिकार करने वाले अपराधियों तक जल्द पहुंचाया जा सकेगा। आपको बता दें कि वर्तमान में ग्वालियर जिले में 35 हजार 83 बंदूक के लाइसेंस है। हर साल 1200 से 1300 लाइसेंस में वृद्धि होती है।

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