वीरेंद्र गहवई, बिलासपुर। स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कोटा क्षेत्र में टीकाकरण के बाद दो बच्चों की मौत पर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि इन बच्चों की मौत टीका लगाने की वजह से नहीं हुई है, बल्कि अन्य कारणों से हुई है। मंत्री ने जानकारी देते हुए बताया कि 8 बच्चों को एक ही प्रकार का इंजेक्शन लगाया गया था, जिसमें से 6 बच्चे पूरी तरह स्वस्थ हैं। दो बच्चों में से एक की मौत उसी दिन शाम को और दूसरे की अगले दिन हुई। डॉक्टरों से मिली मौखिक जानकारी के आधार पर स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि मौत के वास्तविक कारणों की जांच के लिए राज्य स्तरीय टीम का गठन किया गया है और अधिकृत रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।

स्वास्थ्य मंत्री ने स्वाइन फ्लू को लेकर भी जनता को सावधानी बरतने की सलाह दी है। उन्होंने बताया कि इस बीमारी के कोई विशेष लक्षण नहीं होते, इसलिए बुखार, सर्दी, और शरीर में दर्द जैसे लक्षणों पर तुरंत जांच कराना जरूरी है। प्रदेश में स्वाइन फ्लू की जांच के लिए पर्याप्त किट और दवाइयां उपलब्ध हैं, और आइसोलेशन वार्ड प्रदेश के विभिन्न अस्पतालों में पहले से ही तैयार किए गए हैं। मंत्री ने यह भी आश्वासन दिया कि सरकार स्वाइन फ्लू से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है और स्वास्थ्य अमला सक्रिय रूप से कार्य कर रहा है ताकि किसी भी तरह की कमी न रहे।

अधिक जांच के कारण सामने आ रहे ज्यादा मरीज

बता दें कि कि इससे पहले स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा था कि स्वाइन फ्लू के जो मामले अब सामने आ रहे हैं, वह पिछली सरकारों के समय जांच न होने के कारण रिपोर्ट नहीं होते थे। उन्होंने बताया कि वर्तमान में अधिक जांच की जा रही है, जिसके कारण स्वाइन फ्लू के मरीज सामने आ रहे हैं।

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