प्रयागराज. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गौतमबुद्धनगर के डीएम सुहास एल वाई को वसूली की कार्रवाई के आदेश का पालन नहीं करने पर नोटिस जारी किया है. कोर्ट ने कहा था कि तीन महीने में कार्रवाई पूरी कर उसकी रिपोर्ट सौंपे. इसको नहीं कराए जाने पर कोर्ट ने अवमानना नोटिस जारी कर उनसे स्पष्टीकरण मांगा है.

कोर्ट ने डीएम से कहा है कि वह अगले चार महीने में आदेश का पालन कराएं या फिर 5 अगस्त को कोर्ट में हाजिर हों. कोर्ट ने यह भी कहा कि आदेश का पालन करने की दशा में हाजिर होने की जरूरत नहीं होगी. केवल अनुपालन हलफनामा दाखिल करना होगा. यह आदेश न्यायमूर्ति सरल श्रीवास्तव ने वीना कुमारी व अन्य की अवमानना याचिका पर दिया. याचिका पर अधिवक्ता सौमित्र द्विवेदी और शौर्य कृष्ण ने बहस की.

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बता दें कि पिछले साल भी इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गौतम बुद्ध नगर के जिला मजिस्ट्रेट सुहास एलवाई को इसी तरह के कई मामलों में अपनी निष्क्रियता स्पष्ट करने के लिए नोटिस जारी कर 4 अक्टूबर 2021 को कोर्ट के सामने पेश होने का आदेश दिया था. उस वक्त रियल एस्टेट नियामक प्राधिकरण (रेरा) द्वारा जारी प्रमाण पत्र की वसूली का आदेश दिया गया था. कोर्ट ने कहा था कि जिला मजिस्ट्रेट रेरा से पारित आदेश के अनुसार वसूली के लिए सभी लंबित मामलों के विवरण के साथ सामने आएंगे.

राजधानी दिल्ली से सटे नोएडा में सक्रिय रियल एस्टेट डेवलपरों को अपनी अटकी हुई परियोजनाएं पूरी करने में केंद्र सरकार के सहायता कोष (स्ट्रेस फंड) से मदद लेने के लिए संपत्तियों को गिरवी रखने की मंजूरी दी जाएगी. नोएडा विकास प्राधिकरण ने एक बयान में कहा कि रियल एस्टेट डेवलपरों को संपत्ति गिरवी रखने की मंजूरी और बकाया भुगतान को पुनर्निर्धारित करने का फैसला प्राधिकरण के बोर्ड की सोमवार को संपन्न बैठक में लिया गया.