नई दिल्ली। कहते हैं ना समय होत बलवान! भारतीय में वायुसेना का बेड़ा तैयार करने वाला ब्रिटेन के पायलटों को भारत के पायलट प्रशिक्षण देंगे. यह भारत और यूनाइटेड किंगडम के बीच हाल ही में हुए एक ऐतिहासिक रक्षा समझौते के तहत होगा.

द डेली एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित इस “अभूतपूर्व” कदम के तहत भारतीय “टॉप गन्स” अगले साल अक्टूबर से ब्रिटिश कैडेटों को हॉक टी2 फ़ास्ट जेट उड़ाना सिखाएँगे.

ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टारमर की हालिया मुंबई यात्रा के दौरान भारत और ब्रिटेन द्वारा जारी एक संयुक्त बयान में कहा गया: “प्रशिक्षण सहयोग के संदर्भ में, दोनों नेताओं ने एक ऐसी व्यवस्था पर प्रगति का स्वागत किया जिसके तहत भारतीय वायु सेना के योग्य उड़ान प्रशिक्षकों को यूके रॉयल एयर फ़ोर्स के प्रशिक्षण में एकीकृत किया जाएगा, साथ ही एक ऐसा समझौता भी होगा जो हमारे मज़बूत प्रशिक्षण और शिक्षा संबंधों को सुगम बनाएगा.”

डेली एक्सप्रेस ने बताया कि आरएएफ में पायलटों की कमी है क्योंकि विविधता भर्ती अभियान विफल रहा, जिस पर बल प्रमुख को माफ़ी मांगनी पड़ी. अखबार के अनुसार, भर्ती निर्देश के तहत वरिष्ठ अधिकारियों को एक ईमेल भेजा गया था, जिसमें विविधता में सुधार के लिए “बेकार श्वेत पुरुष पायलटों” का चयन बंद करने को कहा गया था, जिसे 2023 में गैरकानूनी पाया गया.

आरएएफ के एक पूर्व पायलट टिम डेविस ने डेली एक्सप्रेस को बताया कि भारतीय प्रशिक्षक एक “संपत्ति” साबित होंगे, लेकिन उन्होंने साथ में सचेत किया कि भारतीय प्रशिक्षकों को ब्रिटिश विमानों से परिचित होने में एक साल से ज़्यादा का समय लग सकता है.