हेमंत शर्मा,इंदौर। शहर के पॉश कॉलोनियों से लक्जरी कारों की चोरी करने वाला राजस्थानी गिरोह पुलिस के हत्थे चढ़ गया। गिरोह के सदस्य आधुनिक तकनीकी का गलत इस्तेमाल कर, कार में बैठे बैठे ही मिनटों में ही खड़ी लक्जरी कार का लॉक खोलकर चोरी की वारदात को अंजाम देता था। बीते एक माह के भीतर शहर के विभिन्न थाना क्षेत्रों से लगभग एक दर्जन वाहनों की चोरी ने पुलिस की नींद उड़ा दी थी। गिरफ्तार आरोपी से पूछताछ में शहर में अब-तक हुई अन्य चोरियों का सुराग मिल सकता है।
जानकारी के अनुसार राजेंद्र नगर थाना इलाके में स्थित स्कीम नंबर 103 में रहने वाले भारत आहूजा की लक्जरी कार मंगलवार सुबह बदमाशों ने चोरी कर ली। सुबह फरियादी बेटी को स्कूल बस में छोडऩे के लिए घर से निकले तो कार गायब थी। उसने इसकी सूचना तत्काल राजेंद्र नगर पुलिस को दी। घटना के तत्काल बाद हरकत में आई पुलिस ने कंट्रोल रूम के माध्यम से नाकाबंदी शुरू की। तब-तक चोरी गई कार दो टोलनाका क्रॉस कर चुकी थी। पुलिस ने इलाके के सीसीटीवी फुटेज को खंगाला तो बदमाश दो अलग अलग लक्जरी कार में सवार और तेज रफ्तार से भागते दिखे। बदमाशों के रूट की जानकारी होते ही मंदसौर पुलिस ने दलौदा के करीब कड़ी नाकाबंदी कर दी। पुलिस को पीछा करते देख बदमाश गाड़ी छोड़कर खेत की ओर भाग गया। पुलिस ने पीछा करते हुए एक आरोपी को दबोच लिया।
इस टेक्निक से करते थे चोरी
गिरफ्तार आरोपी श्रवण विश्नोई राजस्थान के झालौर जिले का रहने वाला है। आरोपी ने पूछताछ में कबूल किया है कि राजस्थान की गैंग सिर्फ चार पहिया कार ही चुराती है। गिरोह का सरगना गणपत और उसके साथी पप्पू, श्रवण, सोएल और बंशी सभी राजस्थान के है। बदमाश पूर्व में भी कार चुराने के जुर्म में गुजरात में गिरफ्तार हो चुके है। गिरोह में शामिल पप्पू चौथी पास है जो एक विशेष सॉफ्टवेयर के माध्यम से तत्काल सारे सिक्योरिटी अलर्ट से डिफ्यूज कर सेंट्रल एक्सेस अपने हाथ में ले लेता है। दूसरी गाड़ी में ही बैठकर वह गाड़ी का लॉक खोल ले देता था और गिरोह के अन्य सदस्य गाड़ी स्टार्ट कर भाग जाता था। बदमाश चोरी की कार को बॉर्डर पर तस्करी के काम में इस्तेमाल करते थे। कुछ समय बाद गाड़ी को दूसरे राज्यों में औने पौने दाम में बेच देते थे।
गिरोह के लोगों से वाट्सअप कालिंग पर बात करते
आरोपी बेहद शातिर है। वे गिरोह के लोगों से वाट्सअप कालिंग पर बात करते थे, ताकि पुलिस उनकी लोकेशन ट्रेस न कर सके है। बहरहाल तकनीकी जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि बीते दिनों इस गैंग का मूवमेंट इंदौर में ही था। इसलिए आशंका है कि इसी गैंग ने अन्य गाडिय़ा भी चोरी की है। बदमाश ने अब तक तीन राज्यों से 20 से अधिक कार चुराने की बात कबूल की है। पुलिस अब गिरोह के चार फरार सदस्यों की तलाश कर रही है। सीसीटीवी फुटेज की मदद से पुलिस ने महज तीन घंटे में ही चोरी लक्जरी कार बरामद कर ली।
राजस्थान की बड़ी गैंग
राजेंद्र नगर थाना प्रभारी अमृता सोलंकी के मुताबिक स्कीम नंबर 103 में रहने वाले भारत आहूजा ने लक्जरी कार चोरी की शिकायत की थी। शिकायत पर केस दर्ज कर जांच शुरू की और आसपास की टीम को अलर्ट किया गया। मंदसौर के पास दलौदा के पास से आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। गिरोह का मुख्य सरगना समेत कुल चार अन्य आरोपी फरार है। यह राजस्थान की बड़ी गैंग है जो देश के विभिन्न राज्यों में कार चोरी की वारदात को अंजाम देते थे। चोरी की कारों से तस्करी के बाद सस्ते दामों में बेच दे देते थे।