कुंदन कुमार /पटना। राजधानी स्थित IGIMS (इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान) में राष्ट्रीय पोषण माह के अवसर पर डायटेटिक्स विभाग की ओर से पोषण जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर चिकित्सा अधीक्षक डॉ. मनीष मंडल डीन (एकेडमिक) डॉ. ओम कुमार, डायटीशियन मनीषा कुमारी और अन्य स्वास्थ्य विशेषज्ञों की मौजूदगी में पोषण और स्वस्थ जीवनशैली पर विचार साझा किए गए।

संतुलित आहार की महत्ता पर जोर

कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहीं मुख्य आहार विशेषज्ञ मनीषा कुमारी ने कहा संपूर्ण पोषण, स्वस्थ जीवन की आधारशिला है। संतुलित आहार सिर्फ बच्चों या गर्भवती महिलाओं के लिए नहीं, बल्कि हर उम्र के व्यक्ति के लिए जरूरी है। उन्होंने बताया कि संतुलित पोषण से प्रतिरक्षा प्रणाली मज़बूत होती है और मधुमेह, मोटापा, उच्च रक्तचाप जैसी बीमारियों से बचाव संभव है।

छात्रों ने बनाए जागरूकता वाले पोस्टर

नर्सिंग कॉलेज के छात्रों ने इस अवसर पर स्वस्थ जीवनशैली, कुपोषण, मानसिक स्वास्थ्य और रोगों की रोकथाम जैसे विषयों पर आकर्षक पोस्टर तैयार किए। चित्रों और नारों के माध्यम से छात्रों ने स्वास्थ्य संबंधी संदेशों को सरल और प्रभावी ढंग से प्रस्तुत किया।

स्थानीय व मौसमी खाद्य पदार्थों पर बल

डायटीशियन और विशेषज्ञों ने कार्यक्रम में आए लोगों को बताया कि स्थानीय व मौसमी खाद्य पदार्थों का सेवन शरीर के लिए ज्यादा लाभकारी होता है। साथ ही जंक फूड से परहेज और नियमित व्यायाम को जीवन का हिस्सा बनाने की सलाह दी गई।

डीन की अपील, पोषण को अपनाएं जीवनशैली में

डॉ. ओम कुमार ने लोगों से अपील की कि वे पोषण माह को केवल औपचारिकता न मानें, बल्कि इसे जीवनशैली का हिस्सा बनाएं। उन्होंने कहा हर घर पोषण हर घर स्वास्थ्य की सोच से ही एक स्वस्थ समाज का निर्माण संभव है।

महिलाओं को जागरूक करने पर भी दिया गया जोर

डॉ. कल्पना सिंह प्रमुख (रेप्रोडक्टिव मेडिसिन विभाग) ने कहा स्वस्थ महिला ही सशक्त परिवार और समाज की नींव है। महिलाओं को अपने खानपान और पोषण के प्रति विशेष रूप से जागरूक रहना चाहिए।

प्रदर्शनी और जन-जागरूकता सामग्री का वितरण

कार्यक्रम में पोषण प्रदर्शनी पोस्टर प्रतियोगिता और मरीजों के बीच जन-जागरूकता सामग्री का वितरण भी किया गया। IGIMS ने इस आयोजन के माध्यम से एक बार फिर से सार्वजनिक स्वास्थ्य को प्राथमिकता देने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई।