नई दिल्ली। गावलान घाटी में चीनी सेना के साथ हिंसक झड़प में 20 भारतीय जवानों की शहादत चीन को बहुत ज्यादा भारी पड़ रही है. चीनी कंपनियों पर एक के बाद एक लगाए जा रहे प्रतिबंधों की कड़ी में अब भारत की राष्ट्रीय पेट्रोलियम कंपनियों ने चीनी टैंकर से पेट्रोलियम के परिवहन पर प्रतिबंध लगा दिया है.

जानकारी के मुताबिक, भारत की राष्ट्रीय पेट्रोलियम कंपनियों – इंडियन आयल, भारत पेट्रोलियम, हिन्दुस्तान पेट्रोलियम भारत में क्रूड आइल के आयात से लेकर दूसरे देशों में पेट्रोलियम के निर्यात तक में चीनी झंडों या चीनियों के स्वामित्व वाले टैंकरों के निविदा प्रक्रिया में हिस्सा बनने पर प्रतिबंध लगा दिया है. पेट्रोलियम कंपनियों ने यह कदम सरकार के भारत की सीमा से जुड़े देशों के कारोबारियों के देश में कारोबार पर बंदिशें लगाए जाने के बाद उठाया है.

मामले से जुड़े जानकारों के मुताबिक, राष्ट्रीयकृत पेट्रोलियम कंपनियां ने न केवल चीनी टैंकर कंपनियों के निविदा में हिस्सा लेने पर प्रतिबंध लगाया है, बल्कि भारत को टैंकर के जरिए पेट्रोलियम का परिवहन करने वाली दूसरे देशों में पंजीबद्ध दूसरी कंपनियों को भी परिवहन के लिए चीनी टैंकरों का इस्तेमाल नहीं करने को कहा है. भारत के इस कदम से स्वाभावित तौर पर चीन के और तिलमिलाएगा.

जानकार बताते हैं कि पेट्रोलियम कंपनियों के इस कदम से भारत में पेट्रोलियम की आपूर्ति पर कोई असर नहीं पड़ेगा. क्योंकि भारत को पेट्रोलियम सप्लाई करने वाली कंपनियां ज्यादातर लाइबेरिया, पनामा या फिर मॉरिशस में पंजीबद्ध टैंकर का इस्तेमाल करती हैं. चीनी टैंकरों का इस्तेमाल पेट्रोलियम परिवहन के लिए सीमित है. चीनी टैंकरों का ज्यादातर इस्तेमाल लिक्विफाइड पेट्रोलियन गैस (LPG) के परिवहन के लिए होता है.