कर्ण मिश्रा, ग्वालियर। मध्यप्रदेश के ग्वालियर चंबल संभाग में अमानक ज्वार और बाजरे का मामला शांत होने का नाम नहीं ले रहा है। अब किसानों ने सरकार और प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। इसी कड़ी में आज किसानों ने ग्वालियर कलेक्ट्रेट का घेराव किया है। किसानों का गुस्सा इसलिए है,क्योंकि पहले सरकार ने समर्थन मूल्य 2250 रुपए की कीमत से किसानों का ज्वारा और बाजरा ले लिया है। अब उसे वापस कर रहे है। वहीं इसका फायदा व्यापारी उठा रहे है, जो किसानों से 1300 से 1400 रुपए में खरीद रहे है।

किसानों को बीते दो सप्ताह से अपने ज्वारा ओर बाजरा को उठाने के आदेश स्थानीय प्रशासन ने सोसाइटियों को जारी कर दिए है। सोसाइटी बार-बार किसानों पर दबाब बना रही है। साथ ही कह रही है, पहले वो अपना अमानक ज्वार और बाजरा को उठाएं और जो राशि समर्थन मूल्य पर उसे मिली है, उसे वापस करें। नहीं तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएंगी। ऐसे में किसानों के साथ अब किसान संगठन भी मैदान में आ गए है। आज ग्वालियर कलेक्ट्रेट में सैकड़ों की संख्या में किसान पहुंचे। जमकर नारेबाजी की। उनकी मांग है सरकार किसानों के साथ न्याय करें।

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ग्वालियर, श्योपुर, भिंड, दतिया, मुरैना, सीहोर, देवास, सागर और पन्ना जिलों में बिना एफएक्यू के ज्वार बाजरा को वापस करने के निर्देश दिए गए हैं। समर्थन मूल्य पर खरीदी गई इस फसल पर शासन को बड़ी रकम अदा करनी होती है। अकेले ग्वालियर जिले में ही लगभग 22 करोड़ अमानक ज्वार और बाजरा है। वहीं अब खाद्य आपूर्ति विभाग ने साफ कर दिया है। उसे इन सबसे कोई मतलब नहीं है। जो सोसायटी अमानक ज्वार-बाजरा को वापस नहीं करेगी। उनके खिलाफ मामला दर्ज किया जाएगा। फिर चाहे किसान ही क्यों न हो।

ग्वालियर चंबल अंचल में खरीदी
0- ग्वालियर- 3567 मीट्रिक टन ज्वार, 5586 मीट्रिक टन बाजरा
0- श्योपुर- 651 मीट्रिक टन ज्वार, 542 मीट्रिक टन बाजरा
0- भिंड- 2248 मीट्रिक टन ज्वार, 528 मीट्रिक टन बाजरा
0- दतिया- 73 मीट्रिक टन ज्वार, 190 मीट्रिक टन बाजरा
0- मुरैना- 1869 मीट्रिक टन ज्वार, 108 मीट्रिक टन बाजरा

बहरहाल इस आदेश के बाद किसान परेशान है क्योंकि जो बाजरा उसने सरकार को 2250 रुपए में बेचा है। उसे वापस लेना है, उसके बाद अगर वह उस बाजरें को बाजार में बेचता है, तो उसकी कीमत व्यापारी 1300 से 1400 लगा रहे है, जिससे उसको सीधा-सीधा एक हजार रुपए का नुकसान हो रहा है।

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