रायपुर. शिक्षाकर्मियों को अब समय पर वेतन मिल जाएगा. राज्य सरकार ने वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए एकमुश्त एक सौ इकहत्तर करोड़ अठ्यासी लाख रुपए जारी करते हुए तमाम जिला पंचायत सीईओ को आहरण की शर्तों के साथ पत्र जारी कर दिया है.

चुनाव का सीजन शिक्षाकर्मियों के लिए काफी फायदे का सौदा साबित हो रहा है. इसके पहले प्रदेश में सरकार बनते ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आठ वर्षों से अधिक समय से सेवारत शिक्षाकर्मियों का शिक्षा विभाग में संविलियन कर उनकी एक बड़ी शिकायत को दूर कर दिया था, अब वित्तीय वर्ष के लिए एकमुश्त रकम जारी कर समय पर वेतन नहीं मिलने की दूसरी बड़ी शिकायत को भी दूर कर दिया है. हालांकि, यह आबंटन ग्रामीण क्षेत्र में कार्यरत प्राथमिक और माध्यमिक स्कूल में अध्यापन कार्य में संलग्न शिक्षाकर्मियों के लिए है.

पंचायत संचालनालय में संयुक्त संचालक वित्त जेपी तिवारी की ओर से गुरुवार को तमाम जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी को पत्र जारी कर वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए 17188 लाख रुपए जारी करने की जानकारी दी. साथ ही इससे जुड़ी शर्तें भी बता दी, जिसमें अग्रिम रूप से आहरण नहीं करने, सत्यापित डाटा के आधार पर वास्तविक गणना के साथ आहरण करने, राशि का उपयोग एरियर्स के भुगतान में नहीं करने जैसी बातों को शामिल किया गया है.