नई दिल्ली। अरविंद केजरीवाल विपक्षी एकता के लिए बड़ा रोड़ा बनकर सामने आ गए हैं. पटना में होने वाली विपक्षी दलों की बैठक से ठीक पहले केजरीवाल ने एक शर्त रखते हुए बहिष्कार की धमकी दे डाली है. दिल्ली को लेकर केंद्र सरकार के अध्यादेश पर कल तक कांग्रेस ने समर्थन का ऐलान नहीं किया तो बहिष्कार करेंगे.

आम आदमी पार्टी के सूत्रों ने बताया कि पार्टी ने अपना रुख विपक्षी दलों के सामने साफ कर दिया है. यदि कांग्रेस ने राज्यसभा में अध्यादेश पर समर्थन करने का आश्वासन नहीं दिया तो विपक्ष की बैठक से वॉकआउट किया जाएगा. वहीं, कांग्रेस से जुड़े सूत्रों का कहना है कि विपक्ष की बैठक में अध्यादेश मुद्दा नहीं है, बल्कि बीजेपी को हराने पर चर्चा होगी.

इससे पहले आप संयोजक अरविंद केजरीवाल ने विपक्षी नेताओं को लेटर लिखकर यह मांग रखी थी कि बैठक में सबसे पहले दिल्ली को लेकर लाए गए केंद्र सरकार के अध्यादेश पर चर्चा हो. मीडिया से बातचीत में केजरीवाल ने यह भी कहा था कि पटना की बैठक में सभी दलों को कांग्रेस से रुख स्पष्ट करने को कहना चाहिए.

केजरीवाल अध्यादेश को कानूनी रूप देने के लिए मॉनसून सत्र में संभावित बिल को राज्यसभा में रोकना चाहते हैं. इसके लिए वह तमाम विपक्षी दलों के नेताओं से मुलाकात करके समर्थन जुटा रहे हैं.

केजरीवाल ने मई के अंत में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात का समय मांगा था. हालांकि, कांग्रेस ने अब तक ना तो उन्हें मुलाकात का समय दिया है और ना ही अध्यादेश पर अपना आधिकारिक रुख जाहिर किया है. हालांकि, दिल्ली, पंजाब, गुजरात से गोवा तक कई राज्यों के कांग्रेस नेता सार्वजनिक रूप से कह चुके हैं कि ‘आप’ का साथ ना दिया जाए.