रायगढ। पद में रहकर पद का दुरुपयोग करने वाले पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष सुनील गर्ग को नगरीय प्रशासन ने ऐसी सजा दी है, जिससे वह अगले पांच साल तक चुनाव लडने के काबिल नहीं रहेगा। छत्तीसगढ नगर पालिका अधिनियम 1961 की धारा 35-ए के तहत खरसिया नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष सुनील गर्ग अगले पांच साल तक चुनाव नहीं लड सकते।
नगर पालिका खरसिया में साल 2010-12 के कार्यकाल में पूर्व अध्यक्ष सुनील गर्ग पर भ्रस्टाचार का आरोप है। उन्होंने अपने कार्यकाल में सडक, सफाई, पेयजल, निकाय की कार्यालयीन व्यवस्था के लिए कर्मचारी रखे थे। लेकिन किसी भी कर्मचारी से काम नहीं लिया गया। इसके चलते नगर में सभी अनिवार्य सेवाएं सडक, पानी, नाली की सफाई प्रकाश व्यवस्था, पेयजल व्यवस्था, व नगर पालिका कार्यालय की प्रशासनिक व्यवस्था शून्य रहीं।
इस मामले को लेकर नगर वासियों ने नगरीय प्रशासन विभाग में कई बार शिकायत भी की। आरोप यह लगा कि काम नहीं होने के बावजूद भी मस्टररोल में करोडों रुपये की हेराफेरी की गई। नगर पालिका द्वारा नगर में जल प्रदाय के लिए 289 पाइप लाइन लगाये गए हैं। जिनका निरंतर संधारण कार्य भी नहीं कराया गया जिससे नगरवासियों की प्यास नहीं बुझ रही थी।
इसके अलावा निर्माण कार्यों के लिए निविदा आमंत्रित करके कम दर प्राप्त होने पर कार्यादेश नहीं दिया गया एवं अमानत राशि लौटाई गई। इस तरह की लगातार शिकायत मिलने के बाद छत्तीसगढ शासन की नगरीय प्रषासन एवं विकास विभाग की ओर से सुनील गर्ग को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया। लेकिन उसने शासन को उचित कारण नहीं बताया। ऐसे में अब उसके खिलाफ राज्य शासन ने सख्त कदम उठाते हुए अगले पांच साल तक चुनाव अयोग्य माना है।