रायपुर। राजधानी रायपुर की डब्लू.आर.आस कॉलोनी के दशहरा मैदान में रौनक है सभी दशहरे की तैयारियों में लगे हुए हैं. रावण भी लगभग बनकर तैयार है. रावण को निहारते राजपाल लुंबा के चेहरे में एक अलग ही सुकुन है. लुंबा लगभग 26 सालों से यहां रावण बनाने का काम कर रहे हैं. और लगभग 4 सालों से दुनिया का सबसे लंबा रावण बना गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में नाम दर्ज करा रहे हैं इस बार भी 101 फीट का रावण बना लुंबा ने रिकार्ड बनाया है.

आश्चर्य की बात तो यह है कि राजपाल लुंबा ने कभी रावण बनाने का प्रशिक्षण कहीं से नहीं लिया उसके बाद भी वो इतनी कुशलता से रावण बनाने हैं कि अच्छे- अच्छे प्रशिक्षित लोग एेसा रावण ना बना पाएं. यह लुंबा का पैशन ही है जो इतने सालों से लगातार जारी है और इस कला को लुंबा ने दूसरे जनरेशन को भी दिया है. लुंबा ने बताया कि आस पास के लोग खुद ही सहायता के लिए आगे आ जाते हैं और सब मिलकर रावण के निर्माण में मदद करते हैं. खास तौर पर बच्चों की रावण बनाने में बहुत दिलचस्पी है.

रावण लगभग पूरा बनकर तैयार है बस इसे जोड़ना बचा है. जिस जगह पर रावण बन रहा उस जगह बहुत सारे बच्चे अपने अपने काम में लगे हैं कोई तलवार पर कागज चिपका रहा तो कोई ढ़ाल पर काम कर रहा. इसमे खास बात ये है कि ये बच्चे पैसों के लिए काम नहीं कर रहे. ये तो उस परंपरा को आगे बढ़ाना चाहते जो लुंबा ने उन्हे सौंपी है.

रावण की तलवार बनाते हुए एक बच्चे राजू ने बताया कि वो चिक्की से कागज को ढ़ाल पर चिपका रहा. पूछने पर उसने बताया कि चिक्की एक तरह से गोंद का काम करता है जिसे आटे और गर्म पानी से तैयार किया जाता है. उसने बताया कि आज शाम तक वो और उसके दोस्त मिलकर इसे बना लेंगे. ये सभी स्कूल में पढ़ने वाले बच्चे हैं और छुट्टी होते ही आ जाते है रावण बनाने. उद्देश्य केवल एक ही है परंपरा को आगे बढ़ाना. ताकि लुंबा के बाद भी यहां दुनिया का सबसे बड़ा रावण बनता रहे.

कैसे बनता है विश्व का सबसे बड़ा रावण-

लुंबा ने बताया कि 1 महिने पहले लंकेश के जयकारे और पूजा के बाद शुरू होता है रावण बनाने का काम. मैदान के पास ही रावण, कुंभकर्ण और मेघनाद के चेहरों की मिट्टी से स्थाई आकृति बनाई गई है. इन्हे चेहरों पर कागज के ढ़ांचे बना कर रावण और बाकियों के चेहरे तैयार किए जाते हैं. दूसरी तरफ चलता है रावण के लिए बांस के ढांचे बनाने का काम. इस तरह 1 महिने तक लगातार मेहनत कर रावण का निर्माण करते हैं. रावण के पैर, हाथ बनकर तैयार हैं बस चेहरे और गहने बनाने का काम बाकी है जो कल तक पूरा हो जाना है. रावण पापी था लेकिन था तो वो राजा इसलिए उसे भी साजा धजा के लिए वध के लिए तैयार किया जाता है.