वीरेंद्र गहवई, बिलासपुर. पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल की ईडी की कार्रवाई के खिलाफ लगाई गई याचिका पर सोमवार को फिर सुनवाई हुई। ईडी ने अपना पक्ष रखा पर आज भी सुनवाई अधूरी रही। अब अगले शुक्रवार यानी 19 सितंबर को फिर मामले की सुनवाई होगी। वहीं ACB की गिरफ्तारी की आशंका से चैतन्य बघेल ने अग्रिम जमानत अर्जी भी दायर की थी, जिसे हाईकोर्ट ने खारिज कर दी।

बता दें कि शराब घोटाले और मनी लॉन्ड्रिंग मामले में चैतन्य बघेल ने अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। मामले की सुनवाई के दौरान ईडी ने कोर्ट को बताया कि चैतन्य बघेल की गिरफ्तारी ठोस सबूतों और वित्तीय लेन-देन के आधार पर की गई है। एजेंसी ने दावा किया कि शराब घोटाले से जुड़े दस्तावेजों, बैंक लेन-देन और गवाहों के बयानों से साफ है कि चैतन्य बघेल ने अवैध कमाई को अपने व्यवसाय में लगाया, जबकि चैतन्य की ओर से ईडी की कार्रवाई और गिरफ्तारी को अवैधानिक और राजनीति से प्रेरित बताया है।

उल्लेखनीय है कि 18 जुलाई 2025 को चैतन्य बघेल को ईडी ने गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के बाद ईडी ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया था कि शराब घोटाले से उन्होंने 16 करोड़ 70 लाख रुपए की अवैध कमाई की और उसे रियल एस्टेट प्रोजेक्ट में लगाया।

वहीं चैतन्य बघेल की अग्रिम जमानत मामले में हाईकाेर्ट ने याचिका खारिज कर दी है। चैतन्य ने ACB की गिरफ्तारी की आशंका से अग्रिम जमानत अर्जी दायर की थी। शासन की तरफ से एएजी विवेक शर्मा ने जमानत का विरोध किया। शासन की ओर से कहा गया कि ACB की स्पेशल कोर्ट के बजाए सीधे हाईकोर्ट में याचिका लगाना उचित नहीं है। हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता को निचली अदालत में आवेदन करने की छूट दी है। यह मामला भी जस्टिस अरविंद वर्मा की सिंगल बेंच में लगा था।