उज्जैन। उत्तराखंड (Uttarakhand) में टनल (Tunnel) ढहने से 41 मजदूर 12 नवंबर से फंसे हुए हैं। वहीं मजदूरों को बाहर निकालने के लिए दिन रात रेस्क्यू ऑपरेशन किया जा रहा है। इसी बीच टनल में फंसे हुए सभी लोगों की जान बचाने के लिए उज्जैन (Ujjain) के बाबा महाकाल मंदिर (Baba Mahakal Mandir) में विशेष पूजा-अर्चना कर महामृत्यंजय जाप किया गया।
महाकालेश्वर मंदिर में महामृत्युंजय का पाठ
उज्जैन में विश्व प्रसिद्ध बाबा महाकाल के दरबार में उत्तराखंड टनल हादसे में फंसे लोगों की सलामती के लिए महामृत्युंजय का पाठ किया जा रहा है। इसके साथ ही कामना की जा रही है कि सभी मजदूर सुरक्षित वापस आ जाएं। महाकालेश्वर मंदिर के पंडित ने बताया कि, बाबा महाकाल अकाल मृत्यु को हरने वाले मानें जाते हैं। महाकाल की शरण में जो भी आता है, उसका बुरा वक्त व अकाल मृत्यु टल जाती है।
उन्होंने कहा कि टनल हादसे में फंसे लोगों की सलामती के लिए मंदिर मे महामृत्युंजय का पाठ किया जा रहा हैं। वहीं उत्तराखंड में सिल्क्यारा सुरंग के अंदर करीब एक हफ्ते से फंसे 41 मजदूरों के सकुशल बाहर आने की कामना करते हुए विभिन्न धार्मिक संगठनों द्वारा पूजा पाठ, हवन, यज्ञ और प्रार्थनाओं का दौर चल रहा हैं।
कैसे हुआ था हादसा
उत्तराखंड के उत्तरकाशी में चार धाम प्रोजेक्ट के तहत सिल्कयारी टनल बनाई जा रही हैं। वहीं 12 नवंबर यानी दिवाली के दिन सुबह करीब 5:30 बजे लैंडस्लाइड होने से बड़ा हादसा हो गया। जिसमें एक बड़ा मलबा निर्माणाधीन सुरंग पर आकर गिर गया, जिसकी कारण अंदर काम कर रहे 41 मजदूर फंस गए थे। सूचना मिलते ही लगातार बचाव अभियान चलाया जा रहा है।
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