Maternity Policies की बातें उन लड़कियों को जानना जरुरी है जो पहली बार मां बन रही है. हर लड़की ये सोचती है कि जब वो मां बने तो प्रेग्नेंसी से लेकर बच्चा होने तक कोई भी परेशानी न आए और इसका वे भरपूर आनंद भी ले सके. इसके लिए Maternity Policies काफी लाभदायक हो सकती है. यदि आप फाइनेंसशियल सपोर्ट चाहती है तो इस पॉलिसी का लाभ ले सकती है.

जानिए Maternity Policies की संपूर्ण जानकारी

मैटरनिटी पॉलिसी के तहत नॉर्मल और सीजेरियन डिलीवरी के खर्चों को कवर किया जाता है. इस मैटरनिटी इंश्योरेंस को दो बार गर्भावस्था के लिए भी लिया जा सकता है. यह नवजात शिशु के वैक्सीनेशन और अन्य मेडिकल खर्चों को भी कवर करता है. प्री व पोस्ट-हॉस्पिटलाइज़ेशन कवरेज भी प्रदान करता है.

Maternity Insurance से मिलने वाले लाभ

  • मैटरनिटी इंश्योरेंस, डिलीवरी, हॉस्पिटल में भर्ती होने के खर्च, दवाओं और अन्य खर्चों को कवर करता है.
  • इमरज़ेंसी के दौरान एम्बुलेंस शुल्क इस प्लान के तहत कवर किए जाते हैं.
  • इस बीमा के तहत हॉस्पिटल से कैशलेस सुविधा प्राप्त कर सकते है.
  • नवजात शिशु को अगर कोई गंभीर बीमारी होती है, तो पॉलिसी कवरेज नवजात शिशु पर भी लागू होगी.
  • हॉस्पिटल में भर्ती होने से पहले के 30 दिन और डिस्चार्ज के बाद के 60 दिन तक, गर्भावस्था से संबंधित किसी भी खर्च को इस प्लान के तहत कवर किया जाता है.
  • समस्याओं की वजह से यदि गर्भ हटाना चाहते तो इसका खर्च भी कवर करता है.
  • नेटवर्क से बाहर के हॉस्पिटल में कराए गए इलाज के लिए एक ही जगह पर तुरंत क्लेम सेटलमेंट की सुविधा पाएं.
  • इनकम टैक्स अधिनियम, 1961 की धारा 80D के तहत रु. 60,000 तक की टैक्स छूट का लाभ उठाएं.

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ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनो तरीके से इस इंश्योरेंस के लिए अप्लाई किया जा सकता है. यदि व्यक्ति मातृत्व लाभ के लिये ऑनलाइन प्रक्रिया का विकल्प चुनने का निर्णय लेता है तो सबसे पहले उसे यह करना होगा

  • डिलवरी के लिए हॉस्पिटल में भर्ती होने के बाद बीमाकर्ता को तुरंत सूचित करें
  • बीमाकर्ता को आवश्यक विवरण पोस्ट करें.
  • बीमाकर्ता से दावा फॉर्म डाउनलोड कराना होगा और आवश्यक दस्तावेज ऑनलाइन जमा करना होगा.
  • ध्यान रहे बीमाकर्ता द्वारा भेजे गए प्रतिनिधि द्वारा विवरण को जांच ले.

यदि आप मातृत्व लाभ के लिए ऑफलाइन प्रक्रिया का विकल्प चुनते है तो दस्तावेज पहले बताए गए दस्तावेजों की तरह समान होंगे पर इसमें आपको इन बातों का ख्याल रखना होगा.

  • नजदीकी बीमा कंपनी की शाखा में जाएं और बताई गई जानकारी के हिसाब से प्रक्रिया पूरी करें.
  • महत्वपूर्ण दस्तावेज – परामर्श बिल, प्रवेश सलाह, डिस्चार्ज रसीद, फिटनेस प्रमाण पत्र, अस्पताल का मूल बिल और फार्मेसी बिल हमेशा तैयार रखे.
  • आवश्यक दस्तावेज हमेशा तैयार रखे इससे प्रक्रिया और आसान बन जाएगी.
  • बीमा का दावा करते समय पॉलिसी दस्तावेज और दावा प्रपत्र जरूर होना चाहिए.

ध्यान रहे मैटरनिटी इंश्योरेंस में ये चीजें शामिल नहीं हैं

  • गर्भावस्था के दौरान जांच परीक्षण और डॉक्टर से सलाह
  • नियमित चेकअप के लिये डॉक्टर से सलाह की फीस
  • डॉक्टर्स द्वारा दी जाने दवाइयां, विटामिन और टॉनिक्स ये मैटरनिटी इंश्योरेंस से बाहर होती हैं.
  • बांझपन के इलाज का खर्च इससे बाहर होता है.

महंगाई के दौर में गर्भावस्था के खर्च भी पहले की तुलना में ज्यादा हो गए है. इस लिहाज से यह सलाह दी जाती है कि आप जितनी जल्दी हो सके इसका लाभ ले.

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