लखनऊ. यूपी में विद्युत कर्मचारियों की हड़ताल से बिजली आपूर्ति चरमरा गई है. ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने साफ कर दिया कि अगर अगले चार घंटे यानी शाम 6 बजे तक जो संविदाकर्मी काम पर नहीं लौटेंगे उनकी सेवा समाप्त हो जाएगी. जिसके बाद ऊर्जा मंत्री अरविंद शर्मा के आवास पर विद्युत कर्मचारी संघर्ष समिति की बैठक जारी है. बैठक में समिति के पदाधिकारी मौजूद हैं. विद्युत कर्मचारी संघ से भी जुड़े नेता बैठक में मौजूद हैं. इसके अलावा संघर्ष समिति के संयोजक शैलेंद्र दुबे भी बैठक में मौजूद है.

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शनिवार दोपहर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ हुई बैठक के बाद प्रदेश के ऊर्जा मंत्री ने हड़ताल पर गए कर्मचारियों को शाम छह बजे तक काम पर लौटने की चेतावनी दी थी. हालांकि, उसके पहले 22 कर्मचारी नेताओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया. इन सबके खिलाफ एस्मा के तहत कार्रवाई होगी. वहीं, 1300 संविदा कर्मियों को भी बर्खास्त कर दिया गया है.

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वहीं ऊर्जा मंत्री की बैठक से पहले विद्युत कर्मचारी संघर्ष समिति अध्यक्ष ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया. जिसमें कहा कि संविदा कर्मियों को 8 हजार रुपए मिलता है. कैसे कोई जी सकता है 8 हजार रुपए में. हमने सांकेतिक हड़ताल को कहा था. हमारे बिजली कर्मचारियों को गिरफ्तार किया गया. उन्होंने कहा कि सेवा समाप्त की गई तो अनिश्चितकालीन हड़ताल करेंगे. हम यही बैठेंगे जब तक गिरफ्तार नहीं किया जाएगा. कोर्ट में हमारे वकील देख रहे हैं.

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