अजय शर्मा, भोपाल। मध्यप्रदेश में कोरोना रिपोर्ट को लेकर गफलत की स्थिति तेजी से बन रही है। लक्षण नहीं आने पर कई लोगों की कोरोना रिपोर्ट न सिर्फ पॉजिटिव आ रही है तो वहीं दूसरे दिन दोबारा टेस्ट कराने पर रिपोर्ट निगेटिव आ रही है। इसे लेकर अब सरकार और एक्सपर्ट के बीच भी चर्चा जोरों पर है। इसकी सबसे बड़ी वजह प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल की ही कोराना रिपोर्ट है। जो पहले कल देर रात पॉजिटिव आयी और आज सुबह यही टेस्ट दोबारा कराया गया तो रिपोर्ट निगेटिव आ गई।

रिपोर्ट पॉजिटिव आने पर पटेल सियासतदानों के निशाने पर आ गए थे। विपक्ष उन पर कोरोना स्प्रेड कराने का आरोप लगा रहा था। और कोविड प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने का आरोप लगा रहा है। वहीं टेस्ट रिपोर्ट के गफलत का मामला सामने आने के बाद मंत्री कमल पटेल भी हैरान है। उनकी मानें तो ये गफतल क्यों हो रही है, कैसे हो रही मेरी समझ से परे हंै। लेकिन मुझे कोरोना के लक्षण नहीं दिखायी दे रहे थे। फिर भी रिपोर्ट पॉजिटिव आयी तो मैने कोविड प्रोटोकॉल का पालन करना शुरू कर दिया था. लेकिन ये स्थिति लगातार प्रदेश में फैलते संक्रमण के लिए और घातक होती जा रही है. जिसके चलते कोविड पॉजिटिव और टेस्ट कराने वाले लोग सबसे ज्यादा परेशान है. उन्हें समझ ही नहीं आ रहा है कि वो किस रिपोर्ट पर भरोसा करें किस पर नहीं।

पांच दिन बाद कराए दूसरा टेस्ट
वही सीएमएचओ प्रभाकर तिवारी की मानें तो लोगों को चाहिए वो भले मामूली लक्षण के शिकार हो। उन्हें एहतियात रखना चाहिए। कोविड का एक बार टेस्ट कराने के बाद दोबारा पांच दिन बाद ही टेस्ट कराये ताकि वास्तविक स्थिति पता चल सके। मामूली लक्षण के बाद लोग टेस्ट करा लें रहे है और टेस्ट में जल्दबाजी भी कर रहे है, जो हानिकारक है।

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