रेणु अग्रवाल, धार। बच्चों की सेहत सुधारने के लिए मूंग बांटने से भाजपा सरकार की बल्ले बल्ले होती उससे पहले ही घटिया क्वालिटी ने इस अभियान और सरकार की नीति और नीयत पर सवाल खड़ा कर दिया। दरअसल शासकीय प्राथमिक व माध्यमिक स्कूलों के बच्चों की सेहत सुधारने के लिए प्रोटीन डाइट के लिए मध्याह भोजन के तहत मूंग बांटा जा रहा है। इस अभियान के तहत धार में घटिया क्वालिटी का मूंग भेज दिया। जैसे ही खराब मूंग बांटने की जानकारी लगी वैसे ही प्रशासन ने इसके लिए एक दल गठित कर दिया है और कार्रवाई की बात रही है।

जिले में 2.29 लाख बच्चों को मूंग को बांटा जा रहा है। जिले में जगह जगह नेताओं के हाथों मूंग वितरण कार्यक्रम जोर शोर से चलाया गया, लेकिन घटिया मूंग यहां कैसे आ गया कोई बताने को तैयार नहीं। प्रदेश के सबसे बडे़ जिले में इस प्रकार का घटिया मूंग बच्चों को अच्छा स्वास्थ्य दे पाएगा? हालांकि अफसर खराब मूंग को वापस लौटाने की बात कह रहे हैं।

दरअसल धार में मूंग हरदा व देवास जिले से परिवहन होकर आ रहा है। गोदाम से खाद्य एवं आपूर्ति विभाग द्वारा राशन दुकान के माध्यम से इसे बंटवाया जा रहा है। विपणन विभाग ने 480 कट्टे की क्वालिटी खराब होने की जानकारी मिलने पर इसके बदले 480 कट्टे मूंग नहीं भेजे हैं।

इस मूंग में मिट्टी, कंकड़ व धूल होने से कुछ मूंग दुकानों से बांटा जा चुका जबकि शिकायत मिलने पर 480 बोरी गोदाम पर एक तरफ रखवा दिया गया। जिससे शहर व ग्रामीण क्षेत्रों की कई दुकानों से शुक्रवार को मूंग वितरण नहीं हो पाया। इधर प्रशासन ने इस मामले में जांच कमेटी बनाई है जो मामले की जांच करेगी। सबसे बड़ा सवाल यह है कि खराब क्वालिटी के मूंग को वेयर हाउस में रखने से पूर्व जिम्मेदारों ने चेक क्यों नहीं किया। जब मीडिया को इस घटिया मूंग की जानकारी लगी तब जांच कमेटी गठित की गई है।

डाॅ पंकज जैन, कलेक्टर ने बताया कि इसके लिए एक दल गठित की जा रही है। मूंग के अलावा जो भी अन्य खाद्यान्न की गुणवत्ता सुनिश्चित की जाएगी। जो शिकायत प्राप्त हुई है उस पर कार्रवाई की जाएगी।

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