शब्बीर अहमद, भोपाल। मध्य प्रदेश में आदिवासी समाज को सत्ता की चाबी कहा जाता है। सत्ता का रास्ता एसटी वर्ग की विधानसभा में मिली जीत-हार से तय होता है। यही वजह है कि इस वर्ग के वोटरों को साधने के लिए बीजेपी और कांग्रेस ने एड़ी चोटी का जोर लगा दिया है। आदिवासियों का दिल जीतने के लिए दोनों दल लगे हुए हैं

कांग्रेस ने आदिवासी वोटरों को लेकर बड़ी प्लानिंग बनाई है। आदिवासी इलाकों पर प्रियंका गांधी फोकस करेंगी। सूत्रों के हवाले से मिली खबर के अनुसार, महाकौशल के बाद अब जल्द प्रियंका गांधी आदिवासी क्षेत्र में आएंगी और जनसभा करेंगी। जुलाई महीने में प्रियंका गांधी के दौरे को लेकर रूपरेखा बनाई जा रही है। प्रिंयंका के अलावा राहुल गांधी और राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के भी दौरे संभावित है। दिल्ली से बड़े नेताओं के दौरे को हरी झंडी मिल गई है।

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ये है कांग्रेस की प्लानिंग

दरअसल, आदिवासी इलाकों में इंदिरा गांधी के प्रशंसक अब भी बड़ी संख्या में मौजूद है। एमपी कांग्रेस प्रियंका गांधी के जरिए इसी को भुनाने में जुटी हुई है। कांग्रेस आदिवासी इलाकों में प्रियंका गांधी को पूर्व पीएम इंदिरा गांधी के चेहरे के तौर पर प्रचार प्रसार के लिए उतारेगी।

पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने कहा कि मध्य प्रदेश में राष्ट्रीय स्तर के नेताओं के दौरे जल्द ही फाइनल होंगे। अलग-अलग स्तर की बैठकों में तैयारियां हो रही हैं। कांग्रेस पूरी तरह से चुनावी मोड में है। इस बार कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।

पिछली बार कांग्रेस को मिला था आदिवासियों का साथ

2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को आदिवासियों का भरपूर साथ मिला था और यही वजह रही कि कांग्रेस 15 साल बाद फिर सत्ता में लौटी थी, हालांकि मार्च 2020 में ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ कई विधायक बीजेपी में शामिल हो गए थे, इश वजह से कमलनाथ की सरकार गिर गई थी और फिर बीजेपी की सरकार बन गई।

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