आकिब खान, दमोह हटा। मध्य प्रदेश के दमोह जिले के हटा (Hata) नगर पालिका सीएमओ राजेंद्र खरे (CMO Rajendra Khare) की मनमानी और उनके कर्मचारियों की अनैतिक गतिविधियां थमने का नाम नहीं ले रही है। नगर पालिका हटा के नियमित और विनियमित कर्मचारी ड्यूटी छोड़ भ्रष्टाचार करने के आरोप झेल रहे सीएमओ के चहेते और पीआईसी एवं परिषद के द्वारा सेवा समाप्त कर्मचारी रूपकिशोर उर्फ बल्लू राय और धर्मेंद्र साहू के बुलावे पर खचना नाके स्थित नेहरू पार्क के वाचनालय में धमाचौकड़ी मचाते हुए देखे गए।

बताया जा रहा है कि कर्मचारियों का संगठन बनाने बैठक आयोजित की गई थी। जिसकी अध्यक्षता भ्रष्टाचार के आरोपों से घिरे विनियमित कर्मचारी रूप किशोर राय और धर्मेंद्र साहू कर रहे थे। अगर बैठक आयोजित की गई थी तो सवाल खड़ा होता है कि इन्हें वाचनालय में बैठक करने की अनुमति किसने दी। यह सवाल यह भी खड़ा होता है कि अगर एक साथ पढ़ाई करने पहुंचे कर्मचारी वाचनालय में बैठने पढ़ने की सुविधा के लिए उपलब्ध बेंचों और डेस्क पर बैठकर मौज-मस्ती किसकी अनुमति से कर रहे थे।

पाठक माहौल देखकर उल्टे पैर लौटे

उल्लेखनीय है कि शाम 6 बजे तक ड्यूटी करने वाले कर्मचारी 4.30 से 5.30 बजे तक अपने कार्य की ड्यूटी छोड़ किसकी अनुमति या किसकी शह पर वाचनालय में मौजूद थे। इस बारे में वाचनालय में ड्यूटी पर मौजूद महिला कर्मचारी मधु तंतुवाय से जानकारी ली। बताया गया कि उन्हें कोई जानकारी नहीं कि वे किसलिए आए हैं। उन्होनें कहा कि नगर पालिका के कर्मचारी थे और सिनीयर थे इसलिए रोका टाकी और ज्यादा पूछताछ नहीं की। नपा कर्मचारियों की बैठक से कई पाठक माहौल देखकर उल्टे पैर वापस लौट गए। वाचनालय पहुंचे रवि साहू, दीपेश उरमलिया ने बताया कि जब वे पहुंचे तो बताया गया कि यहां आज कर्मचारी पढ़ने आए हैं, लेकिन वह पढ़ नहीं रहे थे। बल्कि बाते कर रहे थे, ज्यादा शोर हो रहा था। बाद में समझ आया कि यहां मीटिंग हो रही है तो हम लोग वापस लौट आए।

हटा सीएमओ का अजब-गजब बयान

इस मामले में नगर पालिका सीएमओ राजेंद्र खरे से जानकारी ली गई तो उन्हें नपा के कर्मचारियों की ड्यूटी कितने बजे से कितने बजे तक रहती है यह भी नही पता था और गलत समय बता बैठे। उन्होंने बताया कि ड्यूटी 10.30 से 5.30 तक ड्यूटी रहती है, जबकि कर्मचारियों की ड्यूटी का समय 10 बजे से 6 बजे तक है। उन्होंने बताया कि कर्मचारी बैठक करने गए थे और मुझसे पूछकर गए थे। अब सवाल खड़ा होता है कि आखिर ऐसी कौन सी बैठक थी, जिसमें कर्मचारियों को ड्यूटी छोड़कर बैठक शामिल होने के लिए सीएमओ साहब ने जाने दिया। उनसे पूछा गया कि वाचनालय में मीटिंग क्यों तो उन्होंने बताया कि कर्मचारियों ने कहा था इसलिए मैंने हां कह दिया।

वाचनालय की स्थापना पाठकों के लिए शांति पूर्ण वातावरण में बैठने के लिए की गई है न कि बैठकों के आयोजन के लिए। इस बैठक का एक वीडियो भी सामने आया है, जिसमे नपा के कर्मचारी अनुशासन हीनता कर बेंच पर न बैठकर डेस्क पर बैठे हुए नजर आ रहे है। इस संबंध में नगर पालिका अध्यक्ष शैलेंद्र खटीक का कहना है कि मुझे इस संबंध में कोई जानकारी नहीं है। अगर किसी भी प्रकार की लापरवाही सामने आती है तो नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।

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