मनोज उपाध्याय, मुरैना। मध्यप्रदेश में गौशाला में गायों की मौत का सिलसिला जारी है। प्रदेश के किसी न किसी जिसे से गौशाला में गायों की मौत की खबरें आती रहती है। ताजा मामला मुरैना जिले के पोरसा का है जहां गौशाला संचालक की बड़ी लापरवाही के कारण गायों की मौत हो गई है। निराश्रित गाय को पकड़कर पोरसा गौशाला में बंद कर ताला लगा दिया और चारा पानी डालना भूल गए। कमरे में बंद गाय भूख-प्यास से तड़प-तड़क कर मर गई। दुर्गंध उठने पर लोगों ने गौशाला का ताला खुलवाया तो उसमें गाय का कंकाल मिला। घटना पोरसा जनपद पंचायत की विजयगढ़ ग्राम पंचायत की है। विवाद थाने पहुंचा तो पुलिस ने केस दर्ज करने के बजाय फैसला सुनाया कि गाय की अस्थियां गंगाजी ले जाएं और कन्याभाेज कराएं।

पशु क्रूरता अधिनियम के तहत केस दर्ज की मांग

जानकारी के अनुसार विजयगढ़ गांव की गौशाला से कई दिन से बदबू उठ रही थी। कुछ ग्रामीणों को संदेह हुआ कि गाय मर गई है, इसलिए शनिवार को गांव के सूर्यकांत शर्मा कुछ ग्रामीणों को लेकर गौशाला पहुंचे। गौशाला खाली पड़ी थी, लेकिन एक कमरे का ताला लगा हुआ था। इसी कमरे से बदबू आ रही थी। ताला खुलवाने के बाद कमरे में अंदर देखा तो गाय का कंकाल पड़ा हुआ था। गौशाला में यह अमानवीय हाल देखकर ग्रामीणों ने पंचायत की शिकायत लेकर महुआ थाने पहुंचे तो पुलिस का रवैया देख और भी आवाक रह गए। पुलिस ने कहा कि प्रायश्चित के लिए गाय की अस्थियां गंगा नदी ले जाएं और कन्याओं को भाेजन करवाइए। ग्रामीणों ने पशु क्रूरता अधिनियम के तहत पंचायत व गौशाला के जिम्मेदाराें पर केस दर्ज करने की मांग की है।

Read more: पिकनिक का मजा हुआ किरकिराः युवकों पर मधुमक्खियों के झुंड ने किया हमला, मुंह बांधकर भागे, देखें वीडियो

सरपंच-सचिव पर लगाया 11 सौ का जुर्माना

मामला बढ़ने पर विजयगढ़, महुआ, रैपुरा और पिपरई गांव के लोग और सरपंच श्रीराम और सचिव श्यामसुंदर शर्मा को भी थाने बुलाया। सरपंच ने बताया कि उसने गाय को गड्ढा खोदकर दफना दिया है। थाने में दो घंटे की बैठक के बाद फैसला हुआ, कि रीति रिवाज के साथ गाय के कंकाल का अंतिम संस्कार किया जाए, अस्थियां गंगाजी में विसर्जित करवाई जाएंं। इसके अलावा सरपंच-सचिव पर 11000 रुपये का दण्ड भी किया गया। इस दंड राशि से पूरे गांव की कन्याओं को भोज व दान किया जाएगा।

भुगतान के बाद फिर छोड़ देते
ग्रामीणों ने बताया, कि जिला पंचायत की ओर से गौशाला को भूसा व अन्य व्यवस्थाओं के लिए पैसा मिलता है। जब भी भुगतान का समय आता था, तब गांव में निराश्रित घूमने वाले मवेशियों को पकड़कर गौशाला में बंद कर दिया जाता है। मवेशियों के फोटो खींचे जाते और जब भुगतान हो जाता तो, इन मवेशियों को रात को बाहर कर दिया जाता है।

Read more: 420 के केस में करा दूंगा अंदरः सहायक सचिव ने ग्रामीण को दी धमकी, मनरेगा में अनियमितता को लेकर सीएम हेल्पलाइन में की थी शिकायत

श्यामसुंदर शर्मा, सचिव, विजयगढ़ पंचायत ने कहा कि ऐसा कुछ नहीं है। ऋषि बाबा रहते थे, उन्होंने सब गाय निकाल दी अब वह चले गए अहमदाबाद। यह कैसे हुआ नहीं पता। थाने में लोग गए हैं, उनसे भी मैं बात करता हूं।

जयराम तोमर-जनपद सदस्य, महुआ ने कहा कि परसों शाम को हमने गौशाला का ताला खुलवाया तब उसमें गाय का कंकाल मिला। थाने में कार्रवाई के लिए गए थे। थाना प्रभारी ने क्षेत्र के वरिष्ठ लोगों से चर्चा करने के बाद कहा कि गाय का अंतिम संस्कार किया जाए। गंगाजी में अस्थि विसर्जन व सरपंच-सचिव पर 11 हजार का जुर्माना हुआ, जिससे पूरे गांव की कन्याओं का भोज व दान किया जाएगा।

ऋषिकेश शर्मा- थाना प्रभारी, महुआ ने कहा कि गौशाला तो एक महीने से बंद बताई गई है। मैं खुद देखकर आया वहां कुछ नहीं मिला। हो सकता है यह पुरानी घटना हाे और इस मामले में कोई भी थाने में शिकायत लेकर नहीं आया। शिकायत नहीं आई तो कन्या भोज, अस्थि विसर्जन जैसी कोई बात नहीं हुई। यह सब झूठी अफवाह उड़ाई जा रही है।

Read more: बूंद-बूंद पानी के लिए जद्दोजहद: झिरिया के गंदे पानी से प्यास बुझाने को मजबूर ग्रामीण, नेताओं से लेकर कलेक्टर तक से लगा चुके गुहार, लेकिन कोई नहीं सुनता

Read more- Health Ministry Deploys an Expert Team to Kerala to Take Stock of Zika Virus