शिखिल ब्यौहार, भोपाल। बच्ची से छेड़छाड़ की घटना के बाद सांसद प्रतिनिधि की नियुक्ति को लेकर कई नेता और विधायक लामबंद हुए। पूर्व मंत्री मानवेंद्र सिंह के बाद ललिता यादव ने भी केंद्रीय मंत्री के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। भारी विरोध की वजह से अब सांसद और केंद्रीय मंत्री वीरेंद्र कुमार खटीक ने सभी प्रतिनिधियों को हटा दिया है। इसे लेकर उन्होंने छतरपुर, टीकमगढ़ और निवाड़ी कलेक्टर को पत्र लिखा है। 

अपराधियों को सांसद प्रतिनिधि बनाने का लगा था आरोप

दरअसल, केंद्रीय मंत्री पर कांग्रेस के एजेंट और अपराधियों को सांसद प्रतिनिधि बनाने का आरोप लगाया गया था। सदस्यता अभियान की बैठक का भी बहिष्कार किया गया था। पार्टी ने केंद्रीय मंत्री समेत ललिता यादव और मानवेंद्र सिंह को तलब किया था। जिसकी वजह से वीरेंद्र खटीक ने यह कदम उठाया।

केंद्रीय मंत्री ने लिखा पत्र

केंद्रीय मंत्री ने पत्र में लिखा, मेरी तरफ से जिले में विभिन्न विभागों एवं स्थानों पर कार्य को सहज बनाने के लिए सांसद प्रतिनिधियों की नियुक्ति की गई थी। विभिन्न विषयों के आने के कारण एवं पार्टी की रीति नीति एवं सिद्धांतों के तहत पार्टी हित में समस्त सांसद प्रतिनिधियों की नियुक्ति स्थगित की जाती है।

132 लोगों को बनाया था सांसद प्रतिनिधि

बता दें कि, टीकमगढ़ लोकसभा सीट से सांसद और केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने सबसे ज्यादा 132 लोगों को सांसद प्रतिनिधि बनाया था। लेकिन सांसद प्रतिनिधियों की नियुक्ति के बाद से ही दोनों जिलों में उनका विरोध शुरू हो गया।

बता दें कि इससे पहले 21 सितंबर को टीकमगढ़ जिले में एक सांसद प्रतिनिधि पर सात साल की बच्ची के साथ छेड़छाड़ के आरोप लगे थे। जिस पर कोतवाली पुलिस ने पॉक्सो एक्ट सहित विभिन्न धाराओं में आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया था। छेड़छाड़ का मामला दर्ज होते ही केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार खटीक ने आरोपी सांसद प्रतिनिधि आशीष तिवारी को 21 सितंबर को पद से हटा दिया। 

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