बीडी शर्मा, दमोह। मध्य प्रदेश से एक ऐसा सनसनीखेज मामला सामने आया है, जिससे कटनी, दमोह समेत राजधानी भोपाल के पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है। दरअसल, दमोह में पदस्थ तहसीलदार डॉ. शैलेन्द्र बिहारी शर्मा ने कटनी एसपी अभिजीत कुमार रंजन पर उनका घर तोड़ने के गंभीर आरोप लगाए हैं।

‘पत्नी को ब्लैकमेल कर रहे एसपी’

तहसीलदार ने DGP से शिकायत की है कि एसपी उनकी पत्नी को ब्लैकमेल कर रहे हैं, उन्हें जान से मारने की धमकी दे रहे हैं। साथ ही उन्होंने अपनी CSP पत्नी का अन्य किसी जिले में ट्रांसफर कराने की मांग की है। पीड़ित की शिकायत पर कलेक्टर ने सफाई दी है कि यह उनका व्यक्तिगत विषय है। हमारी इस मामले में पूरी निगाह है। हालांकि, मामले में लल्लूराम डॉट कॉम की टीम ने सीएसपी और उनके पति से बात करने की कोशिश की, लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो सका। वहीं, एसपी ने इस मामले में कुछ भी कहने से इनकार कर दिया।

दरअसल, कटनी सीएसपी ख्याति मिश्रा के पति डॉ. शैलेन्द्र बिहारी शर्मा वर्तमान में दमोह में तहसीलदार एवं कार्यपालिक मजिस्ट्रेट दमोह के पद पर कार्यरत हैं। उनका DGP को लिखा एक कथित पत्र सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने कहा है कि कटनी एसपी अभिजीत कुमार रंजन मेरे परिवार का विखंडन करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने मुझे जान से मारने की धमकी दी है। साथ ही मेरी पत्नी की नौकरी चाट जाने की धमकी दी है। पीड़ित ने CSP पत्नी का सतना, रीवा या सीधी में करने की मांग की है।

पीड़ित के चाचा अधिवक्ता देवेंद्र शर्मा ने भी DGP को एक पत्र लिखा है। उन्होंने आवेदन में लिखा है कि “भतीजे डा. शैलेन्द्र बिहारी शर्मा (तहसीलदार एवं कार्यपालिक मजिस्ट्रेट दमोह म.प्र.) को कटनी पुलिस अधीक्षक अभिजीत कुमार रंजन ने जान से मारने की धमकी है। पारिवारिक विखंडन कराने की कोशिश कर बहू की नौकरी चाट लेने की धमकी भी दी है।”

उन्होंने पत्र में यह भी बताया कि “पद के दुरुपयोग संबंधी एक पत्र रक्षित निरीक्षक पुलिस लाइन कटनी को भी भेजा गया है। जिसकी जानकारी लगते ही एसप पूरी तरह से बौखला गए हैं। साथ ही अपने पुलिस के जवानों को सादी वर्दी में और आपराधिक तत्वों से मेरी जबलपुर में रेकी करवा रहा है तथा सुनसान जगह में गाड़ी रुकवाकर ये धमकी दिलवाता है कि उसके खिलाफ जो भी आवेदन दिए गए हैं उसे वापस लिया जाए। वरना बुरा अंजाम भुगतना पड़ेगा। एसपी ने आवेदक को भी फर्जी केस में फंसाने की धमकी दी है।”

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दमोह एसपी का बयान: मामला हमारे कार्यक्षेत्र से बाहर

दमोह पुलिस अधीक्षक श्रुतकीर्ति सोमवंशी ने इस मामले में बयान देते हुए कहा, “मेरे पास उनके वकील का पत्र प्राप्त हुआ है। अवलोकन के पश्चात मुझे ऐसा लगता है कि यह मामला हमारे कार्यक्षेत्र के बाहर का है। हम इस पत्र में उनका जो भी कानूनी पक्ष बनता है, उसे लिखकर वापस करेंगे। इस मामले में यदि कोई कार्रवाई होगी, तो वह कटनी में या उनके वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा सुनिश्चित की जाएगी। पुलिस की तरफ से यहाँ दमोह में कोई कार्रवाई अपेक्षित नहीं है, इसलिए पत्र को वापस किया जा रहा है।”

श्रुतकीर्ति सोमवंशी, दमोह एसपी

कलेक्टर बोले- तहसीलदार शर्मा ड्यूटी से गायब नहीं

इस पूरे विवाद के बीच तहसीलदार डॉ. शैलेन्द्र बिहारी शर्मा के ड्यूटी से गैरहाजिर रहने की खबरें भी सामने आ रही थीं। इस पर दमोह कलेक्टर सुधीर कुमार कोचर ने स्पष्ट किया कि तहसीलदार शर्मा ने विधिवत अवकाश लिया था और वह बिना अनुमति के अनुपस्थित नहीं हैं। उन्होंने कहा, “इस विषय में मैं अभी कुछ कहने की स्थिति में नहीं हूँ क्योंकि यह उनका व्यक्तिगत विषय है। लेकिन मैं यह जरूर स्पष्ट करना चाहूंगा कि तहसीलदार डॉ. शैलेन्द्र बिहारी शर्मा ड्यूटी से गायब नहीं हैं। उन्होंने बाकायदा आवेदन देकर हमसे दो बार अवकाश लिया था, जो हमने उन्हें स्वीकृत किया। उन्होंने अपने व्यक्तिगत कार्यों के लिए अवकाश मांगा था, जिसे मंजूरी दी गई थी। वे अनधिकृत रूप से अनुपस्थित नहीं हैं।”

सुधीर कुमार कोचर, दमोह कलेक्टर

इससे जुड़े लेटर सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद भोपाल तक बवाल मचा है। लेकिन मामले की गंभीरता को देखते हुए उच्च अधिकारियों की चुप्पी पर सवाल जरूर खड़े हो रहे हैं। अब मामला कटनी और भोपाल के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के पास है। दमोह एसपी ने स्पष्ट कर दिया है कि इस मामले में कोई कार्रवाई दमोह से नहीं होगी और इसे संबंधित अधिकारियों को भेजा जाएगा। वहीं, कलेक्टर दमोह ने तहसीलदार शर्मा के अवकाश को लेकर स्पष्टता देते हुए गैरहाजिर होने की बात को खारिज कर दिया है। अब देखना होगा कि जिम्मेदार इस पर क्या कार्रवाई करेंगे।

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