मयंक तिवारी, मण्डला। मध्यप्रदेश में कोरोना का संक्रमण बढ़ गया है. कोरोना संक्रमण को रोकने शासन द्वारा विभिन्न जिलों में लॉकडाउन लगाया गया है. वही कोरोना गाइडलाइन का पालन कराने लोगों के साथ सख्ती बरती जा रही है. इसके बाद भी लोग बिना वजह घरों से निकलने में बाज नहीं आ रहे हैं.
कोरोना संक्रमण काल में बिना वजह घरों से निकलने वाले लोगों को पुलिस प्रशासन द्वारा रोज नए नए तरीकों के साथ सबक सिखाया जा रहा है. इसी कड़ी में बिना वजह निकलने वाले लोगों को कोरोना पॉजिटव मरीज के साथ एंबुलेंस में बिठाकर सजा दे रही है.
यह समझ आ गया कि आखिर कितना खतरनाक हो सकता है घरों से बाहर निकलना
इसी कड़ी में लॉकडाउन और कोरोना कर्फ्यू के बीच बेवजह बाहर घूमने वालों को पुलिस ने पकड़ा और सीधे उस एंबुलेंस में बैठा दिया जिसमें कोरोना पॉजिटव मरीज था. यही नहीं पुलिस के द्वारा ऐसे लोगों को कोरोना वॉरियर्स के रूप में कोविड सेंटर में सेवाएं देने की सजा भी दी गई. फिर क्या था लोगों को यह समझ आ गया कि आखिर कितना खतरनाक हो सकता है घरों से बाहर निकलना.
बेवजह बाहर निकलने वालों की तो जैसे चेहरों की हवाइयां उडऩे लगीं
मण्डला पुलिस के द्वारा बिना कारण ही घर से बाहर निकलने वालों को रोकने एक अलग ही तरह का नुस्खा अपनाया जा रहा जो कारगर भी हो रहा है. नाट्य रूपान्तरण (मॉक टेस्ट) करते हुए पुलिस के कर्मचारी कोतवाली प्रभारी नीलेश दोहरे के साथ एक एंबुलेंस लेकर निकले. एंबुलेंस में कोविड पेशेंट के रूप में एक कलाकार जो कि पुलिस का ही जवान था उसे बैठा दिया गया. बाहर निकलने वालों को पकड़कर इस एंबुलेंस में कोविड पेशेंट की एक्टिंग कर रहे कलाकार के साथ बैठाने और कोविड केयर सेंटर में ड्यूटी करने की सजा की बात कही गई. फिर क्या था बेवजह बाहर निकलने वालों की तो जैसे चेहरों की हवाइयां उडऩे लगीं और उन्हें समझ आ गया कि उन्होंने घर से निकल कर कितनी बड़ी गलती की है.
कोई भी, कभी भी, कहीं भी कोरोना से संक्रमित हो सकता है
बता दें कि कोरोना कर्फ्यू और चल रहे लॉकडाउन के बीच पुलिस लगातार ही सब्जी फल या दूसरे बहाने लेकर घर से बाहर निकलने वालों को रोकने तरह तरह के प्रयोग कर रही है. लाठी डंडे और भय से काम नहीं चलता देख अब पुलिस ने लोगों को नाट्य रूपांतरण के माध्यम से यह समझाने का प्रयास किया है कि घर से बाहर निकलना कितना खतरा है. कोई भी, कभी भी, कहीं भी कोरोना से संक्रमित हो सकता है.
कोरोना संक्रमण रोकने जारी गाइडलाइन का पालन
प्रदेश शासन के निर्देश पर जिला एवं पुलिस प्रशासन की संयुक्त टीम कोरोना संक्रमण रोकने जारी गाइडलाइन का पालन कराया जा रहा है. इसी कड़ी में प्रदेश के विभिन्न जिलों में पुलिस द्वारा बिना वजह घरों से निकलने वालों को अलग-अलग तरीकों से सजा दी जा रही है. कभी दंड बैठक लगवाया जाता है तो कभी सड़क पर मुर्गा बनाया जाता है. वहीं कभी ज्यादा कड़ाई बरतते हुए एक दिन के लिए अस्थाई जेल भी भेजे जाने की सजा दी जा रही है.
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