शब्बीर अहमद, भोपाल। Umang Singhar Income Tax Office: मध्य प्रदेश में 52 किलो गोल्ड और 10 करोड़ कैश कांड पर सदन गरमाया हुआ है। वहीं मामला सामने आने के बाद परिवहन विभाग में करोड़ों का घोटाला सामने आया। जिसे लेकर नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार आज आयकर विभाग के ऑफिस पहुंचे। उन्होंने इनकम टैक्स विभाग के महानिदेशक से भेंट की और परिवहन घोटाले से जुड़े सबूत सौंपे। सोने की ईंटें और पैसे मिलने पर विभाग को बधाई दी। इस दौरान कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल हाथ में सोने की बिस्किट लिए नजर आया।

उमंग सिंघार ने जांच कर संपत्ति अटैच करने की मांग की

उमंग सिंघार ने दावा किया कि मंत्री गोविन्द सिंह राजपूत ने लोकसेवक के पद पर रहते हुए भ्रष्टाचार कर पत्नी, पुत्रों, रिश्तेदारो और अन्य लोगों समेत अपने नाम से सैकड़ों एकड़ जमीन अवैध लेनदेन कर खरीदी। उन्होंने आयकर विभाग से इस मामले की जांच करने और संपत्ति अटैच करने की मांग की। 

सिंघार बोले- निष्पक्ष जांच का मिला आश्वासन

इनकम टैक्स अधिकारियों से मुलाकात के बाद नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा,”हमें निष्पक्ष जांच का आश्वासन मिला है। गोविंद राजपूत और उनके स्टाफ की रजिस्ट्री सौंपी है। दिल्ली प्रॉपर्टी की जानकारी भी दी है। सोना और पैसा किसका ये पता चलना चाहिए। ये जनता का पैसा है और कांग्रेस पार्टी किसी मंत्री, अधिकारी और पुलिस आरक्षक को नहीं खाने देगी। सौरभ शर्मा पर कार्रवाई हुई, लेकिन बड़े मगरमच्छ पर कार्रवाई नहीं हुई है। पिछले 15 साल में से भ्रष्टाचार चल रहा था किस-किस के नाम से सब उजागर होना चाहिए। समय पर सबका नाम आएगा, सब पर्दाफाश होगा।”

सिंघार ने कहा- मंत्री गोविंद राजपूत ने सागर जिले से लगे कई शहरी गांवों में खरीदी जमीन

उमंग सिंघार ने आवेदन में कहा, “मंत्री गोविन्द सिंह राजपूत ने अपने लोकसेवक (मंत्री) पद का दुरूपयोग करते हुए अवैध रूप से संपत्ति जमा की है। सागर जिले से लगे हुए शहरी क्षेत्र के ग्राम तिलीमाफी, बशियाभान्सा कनेरादेव, भापेल, किर्रावदा, मारा इमलिया, पथरिया जाट, मेनपानी के साथ ही सागर से लगी हुई तहसील के अन्य ग्राम जैसीनगर, झिला, नरयावली, खुरई, मिलैया एच जेरई में लगभग 150 एकड़ से अधिक भूमि अपनी पत्नी, बेटों और स्वय के नाम पर खरीदी गई है, जो रिकार्ड में दर्ज है।”

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सिंघार का आरोप- जमीनों का बाजार मूल्य  500 करोड रुपए से ज्यादा

उन्होंने आगे बताया, “इसका वास्तविक बाजार मूल्य लगभग 500 करोड रुपए से ज्यादा है। पूरी संपत्ति उन्होंने मंत्री रहते हुए और पद का दुरुपयोग कर किए गए भ्रष्टाचार से अर्जित की है। मंत्री गोविन्द राजपूत ने अपनी सास, साले और साले की पत्नी, अपने भाईयों और उनके परिवार, रिश्तेदारों के नाम से भापेल, लुहारी, दमोह जिले में देवरानवासा, पथरिया में सैकड़ों एकड़ जमीनें खरीदी है। इनका बाजार मूल्य 200 करोड़ है। इनमें से कई जमीनों को सिंचित से असिंचित कराया गया। जिससे इन जमीनों का मूल्यांकन कम कर आधा दिखाया गया है। जिससे शासन के लाखो रूपये के स्टाम्प की राशि चोरी की गई।”

उमंग सिंघार ने कहा- काली कमाई खपाने बनाई फर्जी समिति

उमंग सिंघार ने आरोप लगाया कि मंत्री गोविंद राजपूत ने साल 2023 के घोषणा पत्र में 58.22 हेक्टेयर (145.55 एकड़) जमीनें घोषित नहीं की। जिसकी अनुमानित लागत लगभग 350 करोड है। मंत्री गोविंद राजपूत ने भ्रष्टाचार की काली कमाई को खपाने के लिए एक फर्जी समिति बनाई, जिसका नाम ज्ञानवीर सेवा समिति है। इस समिति में गोविंद राजपूत की पत्नी सविता सिंह को अध्यक्ष और पुत्र आकाश सिंह को सचिव बनाया गया। जिसके माध्यम से इनके द्वारा बेनामी संपत्तियों की खरीद फरोख्त की गई है। उमंग सिंघार ने यह भी कहा कि इस समिति के माध्यम से सैकड़ों एकड़ बेशकीमती जमीनें खरीदी गई। जिसमें जमीनों को रिश्तेदारों के नाम से खरीदकर समिति को दान कराया गया। दान की गई जमीनों के दान दाताओं ने इसके पहले न तो कोई जमीन खरीदी और न ही दान की गई।

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नेता प्रतिपक्ष ने कहा- पैसों को ससुराल वालों के खाते में किया ट्रांसफर

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मंत्री गोविन्द सिंह राजपूत ने मनी लॉन्ड्रिंग कर ससुराल वालों के नाम से जमीन खरीद कर अपनी, पत्नी और पुत्रों के नाम दान कराई। संपत्ति लेने से पहले अवैध रूप से बेनामी संव्यवहार के रूप में अवैध अर्जित धन को ससुराल वालों के खाते में जमीन खरीदने के लिए अंतरित किया गया। जमीनों को खरीदने के लिए ज्ञानवीर सेवा समिति के बैंक खाते से गोविंद राजपूत के भाई के समधी रामजी सिंह लुहारी के खाते में राशि ट्रांसफर की गई। इसके बाद रामजी सिंह लुहारी के खाते से गोविंद राजपूत की सास लाडकुवर सिंह और साला हिमाचल सिंह के खाते में राशि अंतरित की गई। जिसका प्रमाण रामजी लुहारी का बैंक खाता डिटेल संलग्न है। ज्ञानवीर सेवा समित्ति के नाम से शहरी क्षेत्र की बेशकीमती जमीनों की खरीद कर पुत्र के नाम से ग्रामीण क्षेत्र की जमीन से तबादला कर करोड़ों की हेराफेरी की है।

‘उमंग सिंघार ने मेरी सुपारी ली है’, मंत्री गोविंद राजपूत ने नेता प्रतिपक्ष पर लगाया सनसनीखेज आरोप, कहा- ‘जिस आदमी की कई पत्नियां हो और एक पत्नी…’

पार्टनर और दोस्त के नाम बेनामी संपत्ति खरीदने का आरोप

सिंघार ने आरोप लगाया कि कई बेनामी संपत्तियां अपने मित्र और बिजनेस पार्टनर कमलेश बघेल और उनकी पत्नी प्रतिभा सिंह बघेल और इनकी कंपनी शिवांश डिवलपर्स प्रा. लि. के नाम से खरीदी है। सागर शहर में बहुचर्चित सहारा समूह की बेशकीमती 100 एकड़ से अधिक भूमि गोविन्द राजपूत ने इनके नाम पर खरीदी । जिसका बाजार मूल्य 600 करोड़ से भी अधिक है। इसमें सर्वोच्च न्यायालय ने सहारा की संपत्ति से संबंधित याचिका में दिये गये आदेश और सेबी के दिशा निर्देशों का भी उल्लंघन किया गया है।

मंत्री गोविंद राजपूत ने लगाया था सुपारी लेने का आरोप

बता दें कि बीते दिनों उमंग सिंघार ने लोकायुक्त में भी कई दस्तावेज सौंपे थे। जिसके बाद मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार पर बड़ा आरोप लगाया है। मंत्री ने कहा था “सिंघार ने मेरी सुपारी ली है। नेता प्रतिपक्ष का चाल चरित्र और चेहरा सब जानते हैं। मुझे यह बताने की आवश्यकता नहीं है। पहले भी वह कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह पर आरोप लगा चुके हैं। उमंग सिंघार भ्रष्टाचार में गले तक डूबे हुए हैं, उन पर शराब माफिया जैसे कई आरोप हैं। 2 करोड़ की डिफेंडर गाड़ी में कहां से घूमते हैं, किसकी है, यह भी जांच का प्रश्न है।”

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