अनिल सक्सेना, रायसेन। मध्य प्रदेश के रायसेन (Raisen) जिले में सरकार ने आवास का सपना दिखाकर कुछ मकान तो बना दिए, लेकिन कई गरीब अभी भी झोपड़ी में रहकर पीएम आवास (PM Awas) की स्वीकृति का इंतजार कर रहे हैं। इसका ताजा उदाहरण सांची ग्राम मुस्काबाद और मंडीदीप नगर में देखने को मिला है। जहां जरूरतमंदों को पीएम आवास योजना का लाभ नहीं मिला है और कच्चे घरों पर प्लास्टिक की पन्नी चढ़ाकर रहने को मजबूर हैं।

केंद्र सरकार की अति महत्वाकांक्षी योजना प्रधानमंत्री आवास योजना के जरिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हर गरीब को पक्का घर देने का वादा मुस्काबाद गांव में सफेद हाथी साबित हो रहा है। यहां पिछले 10 वर्षों से अत्यंत गरीब परिवार के लोग अपने घर के लिए दर-दर भटक रहे हैं। लेकिन उन्हें आज तक पक्का घर नहीं मिल पाया है। सांची ब्लॉक के अंतर्गत ग्राम मुस्काबाद और मंडीदीप नगर अनेकों रहवासी आज भी कच्चे मकान में रह रहे हैं।

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अभी तक बहुत से पात्रों को प्रधानमंत्री आवास योजाना का लाभ नहीं मिला है। यहां के लोग छप्पर के नीचे या फिर पन्नी डालकर किसी तरह अपना जीवन यापन कर रहे हैं। ग्रामीणों ने कहा कि इसके लिए कई बार ग्राम के प्रधान से अपील की गई, लेकिन अभी तक आवास नहीं मिला है। ग्रामीणों का कहना है उनके गांव में मात्र तीन प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत स्वीकृत हुए हैं। इसके अलावा किसी का भी प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ नहीं मिला है।

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