अजयारविन्द नामदेव, शहडोल। मध्य प्रदेश में ठगी के नए-नए तरीके अपनाए जा रहे हैं। इसी बीच शहडोल (Shahdol) जिले से नकली आरटीओ अधिकारी (fake RTO officer) बनकर ट्रांसपोर्टर (transporter) से ठगी करने का मामला सामने आया है। ठग ने खुद को जिले का आरटीओ अधिकारी बताकर ट्रांसपोर्टर 50 हजार रुपए ऐंठ लिए। पीड़ित और शहडोल आरटीओ अधिकारी ने मामले की एसपी से शिकायत की है। इस ठगी ने आरटीओ कार्यालय की पोल खोलकर रख दी। विभाग द्वारा वाहन मालिकों, ट्रांसपोर्टरों से पैसों की मांग की जाती होगी, तभी ट्रांसपोर्टर ने ठग को आरटीओ के नाम पर पैसे दे दिया।
दरअसल, अनूपपुर निवासी ट्रांसपोर्टर विवेकानंद शर्मा की 9 ट्रेलर गाड़िया छत्तीसगढ़ से कोयला लोडकर सतना खाली करने जा रही थी, तभी शहडोल जिले के बघेल ढाबा के पास मनोज उर्फ गुड्डन खुद को आरटीओ अधिकारी बताकर उनकी गाडियों को रोक लिया और गाड़ियों को छोड़ने के एवज में 50 हजार रुपए अपने फोन पे अकाउंट में ले लिया। जब मामले की जानकारी ट्रांसपोर्टर विवेकानंद शर्मा को लगी तो उन्होंने मामले की शिकायत सोहागपुर थाने में की है। शिकायत के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपी की तलाश में लग गई है।
इधर, आरटीओ अधिकारी अरविंद सिह भदौरिया ने एसपी से शिकायत की है कि, शहडोल निवासी मनोज गुप्ता उर्फ गुड्डन ने फर्जी अधिकारी बनकर लोगों से पैसा ऐंठने का काम कर रहा है। जिससे उनकी छवि धूमिल हो रही है। सड़क पर वाहनों की जांच के लिए पुलिस, ट्रैफिक पुलिस के अलावा एक महकमा और भी अधिकृत हैं। जिसे रोड ट्रांस्पोर्ट डिपार्टमेंट यानी आरटीओ कहते हैं। आरटीओ की टीम अपने कार्य और अधिकार क्षेत्र में किसी भी वाहन की जांच के लिए कानून अधिकृत है। मामले में एडिशनल एसपी अंजूलता पाटले का कहना है कि शहडोल आरटीओ की शिकायत पर मामले की जांच करा उचित कार्रवाई की जाएगी।
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