भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा में वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने आज 2 लाख 79 हजार 237 करोड़ का बजट पेश किया. बजट पेश करने के साथ ही मध्य प्रदेश सरकार पर कर्ज भी बढ़ जाएगा. इस तरह अब शिवराज सरकार पर इस साल 3 लाख 47 हजार 337 करोड़ का कर्ज होने का अनुमान है. अभी एमपी पर 2 लाख 95 हजार का कर्ज है. वित्त विभाग की प्रेस कांफ्रेंस में प्रमुख सचिव मनोज गोविल ने यह जानकारी दी है.
शिवराज सरकार ने बजट पेश करने के कुछ दिन पहले ही 2 हजार करोड़ रुपये का लोन लिया है. प्रदेश के बजट का 52 प्रतिशत हिस्सा वेतन भत्ते, पेंशन और ब्याज देने पर खर्च होता है. बता दें कि प्रदेश सरकार का कुल वार्षिक बजट भी इतना नहीं है. यानी राज्य के कुल बजट से ज्यादा सरकार ने कर्ज ले रखा है. मध्य प्रदेश सरकार ने साल 2020-21 में 2.41 लाख करोड़ रुपए का बजट पेश किया था. वित्त वर्ष 2019-20 में राज्य सरकार ने 23,430 करोड़ रुपए का कर्ज लिया था. भारी-भरकम कर्ज के चलते राज्य सरकार को हर साल बड़ी रकम ब्याज के तौर पर चुकानी पड़ रही है.
जानिए बजट में किसे क्या मिला ?
- भोपाल, इंदौर, जबलपुर में पीपीपी मॉडल पर 217 इलेक्ट्रॉनिक व्हिकल चार्जिंग स्टेशन बनेंगे.
- भोपाल के बगरोद और बैरसिया में उद्योग पार्क बनेंगे.
- सरकारी कर्मचारियों का महंगाई भत्ता 20% से बढ़ाकर 31% किया गया. साढ़े 7 लाख कर्मचारियों को इसका फायदा होगा.
- जनजाति विकास निगम बनेगा. यह रोजगार के अवसर तैयार करेगा. गायों की सेवा के लिए नई योजना शुरू की जाएगी.
- बुरहानपुर जिले के हर घर को नल-जल की सुविधा मिल रही है. यह पहला जिला बन गया है.
- अजा वित्त विकास निगम के लिए 40 करोड़ का प्रावधान किया गया है. ओबीसी के लिए पिछड़ा वर्ग वित्त विकास निगम के लिए 50 करोड़ का प्रावधान है.
- सिंचाई और घरेलू जल के लिए बिजली उपलब्ध कराने के लिए सरकार ऊर्जीकरण का महत्वपूण कार्य कर रही है। सागर, शाजापुर, उज्जैन में सोलर प्लांट लगेंगे.
- उद्यानिकी फसलों के लिए एक लाख मीट्रिक टन की भंडारण क्षमता विकसित की जाएगी. दुग्ध उत्पादन योजना शुरू होगी. इसके लिए 1050 का प्रावधान है.
- प्रदेश में घर-घर पशु चिकित्सा सेवा शुरू होगी. मछली पालन के क्षेत्र में रोजगार की संभावना है. मुख्यमंत्री मत्स्य पालन योजना शुरू होगी. इसके लिए 50 करोड़ का प्रावधान है.
- 13000 शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी. 11 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जाएंगे. इससे 11 हजार से ज्यादा रोजगार के अवसर विकसित होंगे.
- अजा-अजजा और ओबीसी की महिलाओं के स्वरोजगार के लिए भी काम किए जा रहे हैं. यह काम स्व-सहायता समूहों के जरिए हो रहा है. इनको 2000 करोड़ रुपए का क्रेडिट दिया जाएगा.
- 31 लाख हितग्राहियों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ दिया जाएगा. 10 हजार करोड़ का प्रावधान रखा गया है.
- ग्रामीण स्व सहायता समूहों के लिए 1 हजार 100 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित पिछली बार से 141 प्रतिशत ज्यादा है.
- अनुसूचित जनजाति के युवा वर्ग के रोजगार के लिए 60 करोड़ का प्रावधान.
- मुख्यमंत्री मत्स्य पालन विकास योजना के लिए 50 करोड़ का प्रावधान.
- स्कूल शिक्षा के लिए 13 हज़ार शिक्षकों की भर्ती होगी.
- स्वास्थ्य बजट में की बढ़ोतरी गई. दो हजार करोड़ से ज्यादा की बढ़ोतरी की है.
- प्रथम चरण में 360 सीएम राइज स्कूल खुलेंगे.
- सीएम राइजिंग प्रथम चरण में 360 सीएम राइजिंग स्कूल खोलने का लक्ष्य रखा गया है. इसके लिए 1 हजार 557 करोड़ का प्रावधान किया गया है.
- पालतू पशुओं के लिए 406 एम्बुलेंस. पशुओं के लिए घर पहुंच इलाज मिलेगा. इसके लिए 142 करोड़ का प्रावधान है.
- प्रदेश सरकार मध्यप्रदेश में खोलेगी 22 नए चिकित्सालय महाविद्यालय.
- श्योपुर राजगढ़ मंडला सिंगरौली सिवनी नीमच मंदसौर दमोह छतरपुर जिलों में खोले जाएंगे.
- प्रदेश में 3250 एमबीबीएस की होंगी सीटें, एमएससी में नरसिंह 50 सीटों से बढ़ाकर 320 की गई.
- 2021 में मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 618 किलोमीटर सड़कें बनाई गई.
- मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 1 हजार 200 किलोमीटर सड़क बनाने का लक्ष्य है. 180 पुल, पुलिया बनाए जाएंगे.
- 2022 में 4 हजार 584 किलोमीटर सड़क बनाने का लक्ष्य है.
- अगले 3 साल के अंदर 31 लाख गरीबों को घर दिया जाएगा.
- अप्रैल 2022 को प्रदेश में मुख्यमंत्री कन्यादान सामूहिक विवाह का कार्यक्रम किया जाएगा. पिछले साल कोविड-19 के कारण सामूहिक विवाह आयोजन नहीं हुआ था.
- पिछड़ा वर्ग को रोजगार के लिए 50 करोड़ की नयी योजना का ऐलान.
- नशामुक्ति के लिए सरकार चलाएगी जन जागरूकता अभियान.
- भोपाल का ताजमहल रीवा का गोविंदगढ़ छतरपुर का राजगढ़ पैलेस निजी निवेशकों को दिया जाएगा.
- 360 नए सीएम राइज स्कूल खोलने का लक्ष्य है, जिसके लिए 7 हजार करोड़ रुपए का प्रावधान है.
- उच्च शिक्षा के लिए 12 करोड़ 47 लाख का प्रवाधान है.
- स्वास्थ्य के लिए 13642 करोड़ रुपये का प्रावधान है.
- सी.एम. राइज योजना के तहत प्रथम चरण में 360 स्कूल प्रारंभ किये जाने का लक्ष्य है.
- इन विद्यालयों की लागत रुपये 7 हजार करोड़ से अधिक होना अनुमानित हैं. इन विद्यालयों में सभी मूलभूत सुविधायें, पर्याप्त शैक्षणिक अमला, खेल-कूद और ललित कलाओं में प्रशिक्षण की व्यवस्था, और विद्यार्थियों को विद्यालय तक आने-जाने के लिये परिवहन सुविधा आदि उपलब्ध कराई जायेंगी. इस बजट में ₹ 1 हजार 157 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित है.
- स्कूल शिक्षा विभाग के लिए वर्ष 2021-22 का बजट अनुमान 25 हज़ार 953 करोड़ हजार है, जिसे बढ़ाकर 27 हज़ार 792 करोड़ रु किया गया है.
- ऑपरेशन गंगा के तहत अब तक मध्य प्रदेश के 500 से अधिक नागरिकों की सकुशल घर वापसी हो गई है शेष नागरिकों को भी लाने का प्रयास जारी है.
- प्रदेश सरकार मध्यप्रदेश में खोलेगी 22 नए चिकित्सालय महाविद्यालय.
- श्योपुर राजगढ़ मंडला सिंगरौली सिवनी नीमच मंदसौर दमोह छतरपुर जिलों में खोले जाएंगे.
- प्रदेश में 3250 एमबीबीएस की होंगी सीटें, एमएससी में नरसिंह 50 सीटों से बढ़ाकर 320 की गई.
- बिजली सब्सिडी के लिए 25 सौ करोड़ का प्रावधान है.
- युवाओं को रोजगार ऋण उपलब्ध करवाया जाएगा.
- अनुसूचित जनजाति के लिये 8 करोड़ की योजना.
- किसान प्रदेश के भाग्यविधाता हैं. सरकार पूरी ताकत के साथ किसानों के साथ. किसानों को 1 लाख 72 हजार करोड़ की सहायता राशि का प्रावधान.
- भोपाल में बनेगा अंतरराष्ट्रीय स्तर का खेल कॉन्प्लेक्स. जनजाति विकास निगम का गठन किया जायेगा. इसके माध्यम से रोजगार की व्यवस्था होगी.
- 11 नयें औद्योगिक केंद्र विकसित कियें जायेंगे.
- ओंकारेश्वर में आदिगुरू की विशाल प्रतिमा और अंतरराष्ट्रीय स्तर की वेदांतापीठ की स्थापना प्रस्तावित. 370 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित है.
- मुख्यमंत्री किसान कल्याण योजना के लिए 3200 करोड़ का प्रावधान.
- राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के लिए 3035 करोड़ का प्रावधान.
- जल जीवन मिशन के लिए 5762 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित.
- केन बेतवा लिंक प्रोजेक्ट के लिए 44 हजार 605 करोड़ के बजट की स्वीकृति.
- उर्जा क्षेत्र के लिए 23 हजार 255 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित.
- ग्रामीण स्व सहायता समूहों के लिए 1 हजार 100 करोड़ का प्रावधान प्रस्तावित पिछली बार से 141 प्रतिशत ज्यादा.
- प्रधानमंत्री फसल योजना के लिए 2200 करोड़ का प्रावधान.
- सीएम राइज के लिए 1500 करोड़ का प्रावधान.
- लाड़ली लक्ष्मी के लिए 922 करोड़ का प्रावधान.
- स्मार्ट सिटी योजना के लिए 900 करोड़ का प्रावधान.
- निर्मल भारत अभियान के लिए 500 करोड़ का प्रावधान.
- मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजना के लिए 602 करोड़ का प्रावधान.
- राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के लिए 3035 करोड़ का प्रावधान.
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