शिखिल ब्यौहार, भोपाल। MP Vidhan Sabha Winter Session: शीतकालीन सत्र के दौरान विधानसभा में किसानों की समस्या और अतिवृष्टि के नुकसान का मुद्दा उठा। इस दौरान पक्ष और विपक्ष में जोरदार बहस हुई। साथ ही भावान्तर योजना को कागजी बताया गया। वहीं मंत्री कैलाश विजयवर्गीय पर कांग्रेस विधायक ने गलत जानकारी देने के आरोप लगाए। 

कांग्रेस ने भावांतर को बताया कागजी

टीकमगढ़ से कांग्रेस विधायक यादवेंद्र सिंह जग्गू भैया ने कहा, धान, मक्का किस फसल की खरीदी हो रही है? सरकार झूठ बोलती है। बुंदेलखंड में किसानों की हालत बेहद खराब है। MSP पर खरीदी नहीं हो रही है। भावांतर की बात भी सिर्फ कागजी मानिए। किसानी लाभ का नहीं घाटे का धंधा हो गया है।सरकार अडानी कंपनी को फसल बेचने के लिए मजबूर कर रही है। नकली खाद, नकली बीज, खाद की किल्लत, नुकसान का सर्वे अब तक नहीं हुआ। 

BJP MLA बोलीं- जमीनी स्तर पर हो बात

सीधी से बीजेपी विधायक रीति पाठक ने कांग्रेस विधायक के सवाल पर जमीनी स्तर पर बात करने की हिदायत दी। उन्होंने कहा कि विपक्ष को सिर्फ इसलिए विरोध नहीं करना चाहिए क्योंकि आप विपक्ष में हैं। आपको यथा स्थिति भी समझनी चाहिए। सरकार हर स्तर पर किसानों के लिए काम कर रही है। जमीनी स्तर पर बात होनी चाहिए। सरकार कई योजनाओं का संचालन कर रही है। 

‘किसानों को लाखों रुपए का फर्जी बिजली पकड़ाए’

श्योपुर से कांग्रेस विधायक बाबू जंडेल ने किसानों को लाखों रुपए के फर्जी बिल थमाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि राहत के नाम पर किसानों को कोई मुआवजा नहीं मिला। पूरी तरह से किसान को बर्बाद किया गया। मंत्री, संतरी ताली बजवाकर झूठी वाहवाही लूट रहे हैं। सिर्फ 1 या प्रतिशत किसानों के खाते में पैसे आए हैं। किसानों पर FIR दर्ज करवा रहे हैं, बिजली बिल के मामले में सरकार किसान के हित के कैसे बात कर सकती है? 

बीमा के नाम पर घोटाला

उन्होंने आगे कहा, किसानों को लाखों रुपए के फर्जी बिजली बिल पकड़ाए जा रहे हैं। बीमा के नाम पर भी घोटाला चल रहा है। श्योपुर में एक रुपए का क्लेम नहीं मिला। जिसे मिला उनमें से किसी को 100 तो किसी को 200 रुपए दिए। गेहूं की बुआई एक माह पहले हो चुकी है। अब खेत सड़क योजना लागू की जानी चाहिए। सरकार की घोषणाएं झूठी है। 

जयवर्धन सिंह बोले- केंद्रीय कृषि मंत्री एमपी से, फिर भी स्थिति दयनीय

पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह ने शिवराज सिंह चौहान के केंद्रीय कृषि मंत्री होने के बावजूद प्रदेश में किसानों की स्थिति दयनीय बताया। उन्होंने कहा कि प्रदेश के 70 प्रतिशत परिवार किसान से जुड़े हैं। किसान सिर्फ प्रकृति ने नहीं जुड़ा होता बल्कि सरकार पर भी निर्भर होता है। खाद, सर्वे और मुआवजा में सरकार फेल हुई है। 47 जिलों में भारी नुकसान हुआ है। बारिश में शिवपुरी, गुना में हालात बेहद खराब रहे। आंकड़े कहते हैं कि 25 प्रतिशत फसल का नुकसान हुआ लेकिन मुआवजा नहीं दिया… यह भी सच है। 

एमपी से केंद्रीय कृषि मंत्री, फिर भी किसानों की स्थिति दयनीय

उन्होंने आगे कहा, प्रदेश के कृषि मंत्री हैं ही, केंद्रीय कृषि मंत्री भी प्रदेश से हैं…फिर भी प्रदेश के किसानों की स्थिति दयनीय हो रही है। प्रदेश के मुखिया और केंद्रीय कृषि मंत्री में समन्वय नहीं है। केंद्र सरकार ने प्रदेश का आपदा में साथ नहीं दिया। MSP को लेकर बात करूंगा। हर मंच से शिवराज सिंह ने कहा था कि धान की खरीदी 3100 रुपए प्रति क्विंटल में होगी, लेकिन घोषणा अब तक पूरी नहीं हुई। 2200 रुपए प्रति क्विंटल धान खरीदी हो रही है। किसान को लाभ तो नहीं मिल रहा…लागत भी नहीं निकल रही। 

‘भावांतर से बिचौलियों को फायदा’ 

जयवर्धन सिंह ने आरोप लगाया कि भावांतर योजना से बिचौलियों को लाभ हो रहा है, आम किसान को नहीं। हमारा पूरा क्षेत्र मक्का उत्पादक है, लेकिन किसान को जहां  MSP 2,400 मिलना चाहिए, वहां बाजार में सिर्फ 1,200–1,500 का भाव मिल रहा है। ऊपर से डीएपी–यूरिया की किल्लत ने किसानों की परेशानी और बढ़ा दी है। सरकार ने एक पत्र के जवाब में कहा है कि केंद्र सरकार ने कहा था कि राज्य सरकार ने मक्का की खरीदी MSP के लिए पत्र नहीं लिखा गया। यह सरकार की बड़ी लापरवाही थी। पेट्रोल-डीजल के रूप में किसानों से चार गुना ज्यादा दाम वसूला जा रहा है। सरकार बताए MSP कहां है? बीते साल सूखे के कारण  सोयाबीन की फसल बर्बाद हुई थी लेकिन फसल बीमा योजना में 1 हजार 224 रुपए ही मिला। ये फसल बीमा योजना की सच्चाई है। अब लगातार किसानों के आत्महत्या के मामले सामने आ रहे हैं। किसान संघ ही सरकार का विरोध कर रहा है ..यह भी सत्ता दल के समर्थन का ही अंग है। 

कैलाश विजयवर्गीय बोले- कांग्रेस ने शुरू की थी भावांतर योजना

मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने सदन में जवाब देते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने खाद पर 2 लाख करोड़ रुपए सब्सिडी दी है। भावांतर योजना कांग्रेस लेकर आई थी, लेकिन किसानों को पैसा नहीं दिया था। भावांतर योजना के तहत किसानों ने इस बार 10 लाख टन अनाज बेचा है। इस पर कांग्रेस विधायक बाला बच्चन ने उन्हें टोकते हुए कहा, ‘शिवराज सरकार में भावांतर योजना शुरू हुई थी। संसदीय कार्य मंत्री सदन में असत्य जानकारी दे रहे हैं।’

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