शिखिल ब्यौहार, भोपाल। मध्यप्रदेश इस समय तीन मौसम सिस्टम की तिहरी मार झेल रहा है – सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ, ला-नीना की दस्तक और स्थानीय चक्रवाती सर्कुलेशन। नतीजा? प्रदेशभर में आंधी, गरज-चमक के साथ बारिश और दिन के तापमान में रिकॉर्ड गिरावट।
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मौसम विभाग के आंकड़ों के मुताबिक, दतिया, गुना, नौगांव और टीकमगढ़ आज सबसे ठंडे रहे – दिन का तापमान सामान्य से 6-8 डिग्री तक नीचे। राजधानी भोपाल में दिनभर रिमझिम बारिश जारी रही। ग्वालियर, पचमढ़ी, शिवपुरी, रायसेन, नर्मदापुरम, टीकमगढ़, निवाड़ी, छिंदवाड़ा, दमोह, छतरपुर (खजुराहो), नौगांव, रीवा, सागर, सतना, सिवनी, सीधी, उमरिया समेत 20 से अधिक जिलों में बारिश दर्ज हुई।
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इस बार उत्तर-पश्चिम भारत में पश्चिमी विक्षोभ की संख्या अधिक होगी। नवंबर से फरवरी तक कड़ाके की ठंड पड़ेगी, 2010 के बाद यह सबसे भीषण सर्दी हो सकती है। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि नवंबर-जनवरी में सर्दी का दौर शुरू होगा और फरवरी तक इसका असर रहेगा।
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