कोंडागांव. निकाय को आर्थिक क्षति पहुंचाने वाले नगर पालिका सीएमओ विजय कुमार पांडे को राज्य शासन ने निलंबित कर दिया है. सीएमओ विजय पांडे की अनियमितता की खबर को लल्लूराम डाॅट काम ने प्रमुखता से प्रसारित किया था. सत्ता पक्ष के दर्जनभर पार्षदों ने सीएमओ पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए विधायक मोहन मरकाम और मंत्री शिव डहरिया को पत्र लिखकर उसे हटाने की मांग की थी.

पार्षद मनीष श्रीवास्तव, यागेन्द्र पोर्याम, इरशाद खान, वर्षा यादव, अनिता पोयाम, बबीता मरकाम ने सीएमओ पर आरोप लगाया था. पार्षदों का कहना था कि कनेरा रोड काम्लेक्स की दुकानें 22 से 25 लाख रुपए में नीलाम हुई. इससे परिषद की अचछी आमदनी भी हुई. उसके बाद नेशनल हाईवे मेन रोड पर 10 दुकानें बन रही थी, जिसका निर्माण पूरा भी नहीं हो पाया और उन्हें महज 15 लाख में नीलाम कर दिया.

7 पार्षदों का अरोप है कि सांठगांठ कर दुकानें नीलाम की गई. अधूरी दुकानों की नीलामी गिनती के लोगों को बुलवाकर रिंग बनाकर हुई. ये दुकाने 30 से 35 लाख रुपए तक जानी थी. इस नीलामी पर भी सवाल उठे थे. नलकूप खनन का ठेका उपाध्यक्ष के दामाद को दिया. निविदा भी गोपनीय तरीक से सीएमओ ने नपा उपाध्यक्ष के दामाद के नाम कर दी. निविदा खोलते समय किसी भी पार्षद और निविदा मंे शामिल लोगांे को बुलाना भी जरूरी नहीं समझा.

मुख्य नगर पालिका अधिकारी विजय कुमार पांडे को नगर पालिका परिषद कोंडागांव में पदस्थापना के दौरान बोर खनन कार्य के लिए आमंत्रित निविदा में छत्तीसगढ़ नगर पालिका मेयर इन काउंसिल प्रेसिडेंट इन काउंसिल के कामकाज का संचालन तथा प्राधिकरण कार्यों की शक्तियों एवं कर्तव्य नियम 1998 का पालन नहीं करने, श्रमिक प्रदाय हेतु आमंत्रित निविदा में भंडार क्रय नियम का उल्लंघन करने एवं एवं रायपुर नाका स्थित दुकान आवंटन के लिए नीलामी की कार्यवाही में प्रतिस्पर्धा के अभाव में भी नीलामी की जाकर निकाय को आर्थिक क्षति पहुंचाने के कारण राज्य शासन ने विजय कुमार पांडे मुख्य नगर पालिका अधिकारी नगर पालिका परिषद कोंडागांव को तत्काल प्रभाव से निलंबित किया. निलंबन अवधि में नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ते की पात्रता होगी.

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