बिंदेश पात्र,नारायणपुर। छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ के कोहकामेटा क्षेत्र को नक्सलियों ने सालों पहले अपना कोर एरिया (राजधानी) बनाया था. 80 के दशक में कोहकामेटा में गांधी परिवार से संजय गांधी आ चुके हैं. अबूझमाड़ के भ्रमण में जिसके बाद से नक्सलियों ने इस क्षेत्र को अपना कोर एरिया बनाया. नक्सलियों ने अबूझमाड़ के ग्रामीणों में दहशत फैलाने के लिए सबसे पहले विकास कार्यों को रोका, जिनका पहला निशाना स्कूल था.
नक्सलियों का मानना है कि अबूझमाड़ के लोग शिक्षित हो जाते हैं, तो नक्सलियों के लिए दहशत कायम रखना बड़ा मुश्किल हो जाता है. जिसके लिए उन्होंने स्कूलों को धराशाई करना शुरू कर दिया. सन 2000 के बाद नक्सलियों ने अपना दबदबा स्थापित करने के लिए सैकड़ों स्कूलों को तोड़ दिया. सन 2006 में कोहकामेटा स्कूल को तोड़ दिया. जिसके बाद क्षेत्र में नक्सली स्कूल के साथ पंचायत भवन, रोड और पुलिया को अपना निशाना बनाया. क्षेत्र में नक्सलियों को पीछे धकेलने में नारायणपुर पुलिस फोर्स ने जी जान लगा दिया. स्कूल भवन बनवाया और अबूझमाड़ में शिक्षा की ज्योत जलाई.
कोहकामेटा में पुलिस कैंप खुलने से बदलाव आया है. कोहकामेटा की तस्वीर बदल रही है. पुलिस फोर्स ने सबसे पहले पहुंच मार्ग बनाने के लिए नदी में पुलिया का निर्माण करवाने में अपना योगदान दिया. नदी किनारे कैंप खोल दिया. नदी में पुल बनाना सबसे कठिन समय माना जाता है. नक्सलियों ने इस पुल में कई बार हमला भी किया, लेकिन नारायणपुर पुलिस ने इसका मुंह तोड़ जवाब दिया और पूरा पुलिया बनवाया.
अबूझमाड़ को जोड़ने वाली यह पुलिया अबूझमाड़ के निवासियों के लिए एक नई उम्मीद बनी. जिसके बाद कोहकामेटा में सड़क निर्माण कार्य चलाया गया. सड़क निर्माण कार्य चलाते हुए इस क्षेत्र में पक्का स्कूल, कर्मचारियों के लिए ट्रांजिस्टर हॉस्टल, प्रशिक्षण केंद्र, लाइब्रेरी, थाना भवन जैसे कई विकास कार्य करवाए गए. आज इस क्षेत्र में यहां की जनता एक सुकून की सांस लेकर अपने बच्चों को स्कूलों में पढ़ाते हैं.
अबूझमाड़ के बच्चे पढ़ लिख कर कलेक्टर और डॉक्टर बनना चाहते हैं. कोहकमेटा के हाई स्कूल में पढ़ रहे बच्चों से जब चर्चा की गई, तो बच्चों ने अपने दिल की बात बताई. 12वीं कक्षा में पढ़ रही बच्ची ने बताया कि मैं कलेक्टर बनना चाहती हूं. वही 11वीं कक्षा के छात्र ने कहा कि मैं डॉक्टर बनना चाहता हूं. उम्मीद इस क्षेत्र में नए भवनों के बनने जगी है.
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नीरज चंद्राकर ने इस क्षेत्र में पुलिस द्वारा करवाए गए विकास कार्यों को एक बड़ी उपलब्धि मानते हैं. उनका कहना है कि नक्सली हमेशा से भोली भाली अबूझमाड़ के आम जनता पर गलत तरीका से दहशत बनाने के लिए हथकंडा अपनाते रहते हैं. जो कभी पूरी नहीं होगा. नारायणपुर पुलिस अबूझमाड़ के सुरक्षा के लिए हमेशा अपना योगदान देगा. नक्सलियों के नापाक इरादों को कभी पूरा होने नहीं देगा. आगे चलकर और भी बड़े-बड़े विकास कार्यों में अपना अहम सहयोग देने की बात कही है.
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