नई दिल्ली. राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के नेता चुने जाने के साथ नरेंद्र मोदी के दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने का रास्ता प्रशस्त हो गया. नरेंद्र मोदी शाम को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात कर एनडीए नेता के तौर पर प्रधानमंत्री पद के लिए अपनी दावेदारी पेश करेंगे.
संसद के सेंट्रल हॉल में शनिवार को वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी, डॉ. मुरली मनोहर जोशी की उपस्थिति में भाजपा सहित एनडीए के सहयोगी दलों के सांसदों की बैठक शुरू हुई. सबसे पहले भारतीय जनता पार्टी की ओर से नरेंद्र मोदी को दल का नेता चुना गया, इसमें अमित शाह के प्रस्ताव को राजनाथ सिंह और नितिन गडकरी ने समर्थन दिया. भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के नरेंद्र मोदी की दल के नेता के तौर पर घोषणा किए जाने के बाद एनडीए के विभिन्न घटक दलों ने समर्थन करने का क्रम शुरू हुआ.
सबसे पहले अकाली दल के नेता के तौर पर प्रकाश सिंह बादल ने, फिर जनता दल युनाईटेड के नेता और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, शिवसेना के नेता उद्धव ठाकरे, लोक जनशक्ति पार्टी के नेता रामविलास पासवान, एआईएडीएमके के नेता और तमिलनाडु के मुख्यमंत्री के पल्लानीस्वामी, नेशनल डेमोक्रेटिग प्रोग्रेसिव पार्टी और नेशनल पीपुल्स पार्टी के नेताओं ने अपना समर्थन दिया. इसके साथ अन्य दलों ने नरेंद्र मोदी को एनडीए संसदीय दल का नेता चुनने के साथ देश के प्रधानमंत्री के तौर पर अपनी अनुशंसा की.
एनडीए के घटक दलों के नेता चुने जाने के बाद अब शाम को नरेंद्र मोदी राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात कर सभी घटक दलों के समर्थन पत्र सौंपकर प्रधानमंत्री पद के लिए दावेदारी करेंगे. रविवार को नरेंद्र मोदी गुजरात जाकर अपनी मां से मुलाकात करेंगे, इसके बाद वाराणसी जाकर चुनाव में जीत दिलाने के लिए लोगों का आभार व्यक्त करेंगे. माना जा रहा है कि नरेंद्र मोदी 30 मई को प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ ग्रहण करेंगे.