Bihar Elections 2025: बिहार विधानसभा चुनाव के बीच सारण जिले की मढ़ौरा सीट पर राजनीतिक समीकरणों में बड़ा बदलाव देखने को मिला है। राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) ने अपने अधिकृत उम्मीदवार का नामांकन रद्द होने के बाद एक निर्दलीय उम्मीदवार अंकित कुमार को समर्थन देने की घोषणा की है। यह कदम एनडीए के लिए न सिर्फ रणनीतिक बल्कि सामाजिक दृष्टि से भी अहम माना जा रहा है।

लोजपा (आर) की उम्मीदवार का नामांकन रद्द

इस सीट से लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) ने सीमा सिंह को उम्मीदवार बनाया था। लेकिन निर्वाचन अधिकारी द्वारा “तकनीकी कारणों” से उनका नामांकन पत्र खारिज कर दिया गया। नामांकन रद्द होने के बाद पार्टी के सामने उम्मीदवार चयन की चुनौती खड़ी हो गई।

निर्दलीय उम्मीदवार अंकित कुमार को दिया समर्थन

इस पर लोजपा (रामविलास) के मुख्य सचेतक अरुण भारती ने पटना में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, “हमारे अधिकृत उम्मीदवार का नामांकन रद्द होने के बाद गठबंधन के भीतर विचार-विमर्श हुआ। हमने तय किया कि अब हम अंकित कुमार को समर्थन देंगे, जो एक किसान परिवार से आते हैं और अति पिछड़ा वर्ग (EBC) से हैं। वह युवा, शिक्षित और समाज के लिए समर्पित हैं। NDA उनका पूरा समर्थन करेगा।”

जदयू ने बताया सामाजिक समरसता का प्रतीक

एनडीए की सहयोगी पार्टी जनता दल (यूनाइटेड) ने भी अंकित कुमार को समर्थन देने के फैसले को सामाजिक और वैचारिक दृष्टि से महत्वपूर्ण बताया। जदयू के वरिष्ठ प्रवक्ता नीरज कुमार ने कहा, “NDA हमेशा जननायक कर्पूरी ठाकुर के सिद्धांतों पर काम करता है। एक ईबीसी उम्मीदवार को समर्थन देना हमारी सामाजिक न्याय की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। विपक्ष केवल नारे और उपाधियां चुराने में व्यस्त है, जबकि एनडीए सामाजिक समानता को व्यवहार में उतारता है।”

वंशवाद की ढाल टूटेगी- BJP

भारतीय जनता पार्टी (BJP) के राष्ट्रीय सचिव रितुराज सिन्हा ने कहा कि मढ़ौरा में एनडीए ने एक ऐसा चेहरा चुना है जिसकी कोई राजनीतिक पृष्ठभूमि नहीं है। “यह सीट लंबे समय से एक ही परिवार के कब्जे में रही है। लेकिन इस बार मढ़ौरा में वंशवाद की राजनीति की ढाल टूटेगी। अंकित कुमार जैसे युवा और आम परिवार से आने वाले उम्मीदवार को समर्थन देकर हम जनता को यह संदेश दे रहे हैं कि राजनीति अब सेवा का माध्यम बने, विरासत का नहीं।”

फिलहाल सीट पर RJD का कब्जा

फिलहाल मढ़ौरा विधानसभा सीट पर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) का कब्जा है। यहां से जीतेंद्र कुमार राय वर्तमान विधायक हैं। राय परिवार का इस क्षेत्र में वर्षों से गहरा राजनीतिक प्रभाव रहा है। राजद ने एक बार फिर से उनपर भरोसा जताया है। कहा जाता है कि पिछले पांच चुनावों में राय परिवार का ही कोई सदस्य विजयी होता रहा है।

अब एनडीए द्वारा निर्दलीय उम्मीदवार को समर्थन देने से मढ़ौरा का मुकाबला दिलचस्प हो गया है। एक ओर राजद अपने परंपरागत गढ़ को बचाने में जुटी है, तो दूसरी ओर एनडीए “नए चेहरे और नई सोच” के साथ मैदान में है। आपको बता दें कि मोहनिया सीट पर श्वेता सुमन का नामांकन रद्द होने पर राजद ने भी निर्दलीय उम्मदीवर रवि पासवान को समर्थन देने का ऐलान किया है।

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