Odisha News: भुवनेश्वर. उच्च शिक्षा विभाग से एक बड़ी खबर आई है. राज्य में उच्च शिक्षा में बेहतर परिणाम के लिए हर प्रोफेसर को 7 घंटे कॉलेज में रहना होगा. इस दौरान वे क्लास लेने के अलावा अन्य शैक्षणिक गतिविधियों में हिस्सा लेंगे. इस संबंध में एक उच्च स्तरीय बैठक के बाद यह निर्णय लिया गया है. साथ ही, सभी कॉलेजों के प्रमुखों को निर्देश भी जारी कर दिया गया है.

कोरोना के बाद से शिक्षा की स्तिथि बिगड़ी

कोरोना के बाद राज्य में उच्च शिक्षा की स्थिति बिगड़ी है. दो सालों से कॉलेज के रिजल्ट खराब आ रहे हैं. इसे देखते हुए राज्य सरकार ने सभी प्रोफेसर्स को कॉलेज में अतिरिक्त समय देने का निर्देश जारी किया है. इस तरह अध्यापन में ज्यादा समय देने से पढ़ाई में सुधार आने की उम्मीद है. वहीं छात्रों के लिए भी 75 फीसदी न्यूनतम उपस्थिति अनिवार्य कर दी गई है. इससे कम उपस्थिति में परीक्षा में बैठने नहीं दिया जाएगा. दरअसल, कॉलेज में प्रोफेसर समय नहीं देते, वहीं स्टूडेंट भी क्लास बंक करते हैं. यह भी रिजल्ट गिरने का मुख्य कारण है, इसलिए स्टूडेंट्स की उपस्थिति पर भी जोर दिया जा रहा है. बैठक में यह भी तय किया गया है कि अच्छी नैक ग्रेडिंग पाने वाले कॉलेज को इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए अतिरिक्त राशि दी जाएगी. इससे वे और बेहतर परफॉर्म कर पाएंगे.