पुरुषोत्तम पात्र, गरियाबंद. छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर से 90 किलोमीटर की दूरी पर स्थित गरियाबंद जिला अपनी खूबसूरती के चलते पर्यटन जिले के रूप में सैलानियों की पहली पसंद में शामिल होता जा रहा है. चारो तरफ से पहाड़ से घिरे होने के चलते इसका नाम गिरिबंद पड़ा था जो अब गरियाबंद कहलाने लगा है. इन दिनों सोशल मीडिया पर ट्रेंड कर रहा है कभी नक्सलियों के गढ़ के रूप में जाना जाने वाला शहर अब अपनी खूबसूरती के चलते देशभर में पहचाना जाने लगा है और देश के कई शहरों से सैलानी यहां पहुंच रहे है.

गरियाबंद के खूबसूरत जंगल और हाइवे के साथ साथ चलने वाली नदी का खूबसूरत नजारा समुद्र के किनारे बसे खूबसूरत शहर का अहसास कराता है. यू ट्यूब में यहां की खूबसूरती को मिलियन व्यूज मिल रहे है. कई यू ट्यूबर और ब्लॉगर शहर की खूबसूरत लोकेशन को राज्यभर के बेहतरीन पर्यटक स्थल में शुमार कर रहे है, सोशल मीडिया पर ट्रेंड में रहने के चलते पिछले कुछ सालों में सैलानियों की संख्या में कई गुना वृद्धि हुई है. Read More – अब डायरेक्टर बनने वाली हैं Disha Patani, Youtube पर शेयर किया Video …

जिससे स्थानीय व्यापारियों को आर्थिक लाभ भी हो रहा है. युवा वर्ग में मिनी गोवा के नाम से मशहूर हो रहे जिले की खूबसूरती देखते ही बनती है मगर बारूका स्थित चिंगरा पगार वॉटर फॉल, भूतेश्वर नाथ महादेव (भक्कुर्रा) जतमई, घटारानी सोशल मीडिया पर खूब ट्रेंड कर रहे है. Read More – Aks फिल्म की शूटिंग के दौरान रखा फ्रेंच शेव, जानिए क्यों इसी स्टाइल में नजर आते हैं अमिताभ बच्चन …

धार्मिक और प्राकृतिक खूबसूरती समेटे सैलानियों की पहली पसंद बना गरियाबंद

छुट्टियों के दिन यहां 12 से 15 हजार सैलानी पहुंच रहे है. वहीं रानी दहरा और पैरी घुम्मर जलाशय गजपल्ला वॉटरफॉल जैसे प्राकृतिक सौंदर्य स्थल की खूबसूरती भी सैलानियों का मन मोह रहीं है. मैनपुर स्थित सिकासेर डेम, देवधारा वॉटर फॉल की खूबसूरती देखने के लिए भी दूर दूर से सैलानी आ रहे है. उदंती सीता नदी टायगर रिजर्व द्वारा कुल्हाड़ी घाट जिसे कभी नक्सल गढ़ माना जाता था वहां वर्तमान में जलाशय में सैलानियों के लिए बोटिंग और कई एडवेंचर स्पोर्ट्स की शुरुआत की गई है.