मोसीम तड़वी, बुरहानपुर। शहर के एक युवा को सिक्कों और पुरानी करेंसी (नोट) संग्रहण करने का जुनून है। महज 4 साल में इस युवा ने लगभग डेढ लाख प्राचीन सिक्के व नोट्स संग्रहित कर लिए हैं। हालांकि उन्हें यह शौक विरासत में मिला है। इस युवा ने अपने अनूठेे शौक के लिए कई कदम आगे बढा लिए है। अब इस युवा का सपना है वह अपने इस कलेक्शन का प्रदर्शन विदेशों में भी करें।

बुरहानपुर के कसेरा बाजार क्षेत्र में रहने वाले युवा आकाश माहेश्वरी को पूराने सिक्के और मुद्रा (नोट) जमा करने का शौक है। उन्हें यह शौक अपने दादा, फिर पिता से मिला। आकाश बताते हैं कि उनके दादा व पिता इस क्षेत्र में कुछ खास कलेक्शन नहीं करते थे लेकिन जब उन्होंने इसको समझा। देश प्रदेश में आयोजित होने वाली क्वॅाइन कलेक्शन समितियों की प्रदर्शनी में शामिल हुए तो उन्होंने इस शौक को जूनून बना लिया। परिणाम स्वरूप आकाश ने छोटी उम्र और महज चार साल में अपने कलेक्शन में डेढ लाख से अधिक प्राचीन मुगलकालीन, रियासतकालीन, ब्रिटिश कालीन सिक्कों का कलेक्शन कर लिया। उनके कलेक्शन में देश में जबसे नोट प्रथा शुरू हुई है तब से अब तक के 10 रुपए 20, 50 और 500 रुपए और हजार वाले नोट शामिल है। साथ ही उनके इस कलेक्शन में छपने व ढलने में त्रुटिपूर्ण सिक्के व नोट भी शामिल है


वे देश प्रदेश में आयोजित होने वाली क्वॉइन कलेक्शन की प्रदर्शनियों में भाग ले चुके है। उन्हें विदेशों में चलने वाली मुद्रा का कलेक्शन करने का भी शौक है। उनके पास अबतक 30 देशों की करेंसी (नोट) है।

वे बताते है कि उनके इस शौक को देखकर उनके मित्र, पडोसी और रिश्तेदार उन्हें पागल तक की उपाधि दे चुके हैं, लेकिन उन्हें इसका कोई फर्क नहीं पड़ा। अब उनका सपना विदेश में आयोजित होने वाली प्रदर्शनी में सभी कलेक्शन को प्रदर्शन करने का है। उनकी इच्छा लोगों को किसी भी देश की मुद्रा से संबंधित जानकारी देने की है। उन्हें इस काम में आनंद मिलता है।

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