मनोज उपाध्याय, मुरैना। संसद की सुरक्षा में पदस्थ मुरैना के जवान को दिल्ली में ही साथी सिपाही ने गोलियों से भून दिया। बुधवार की सुबह जवान की पार्थिव देह मुरैना पहुंची। शव पहुंचने के बाद आक्रोशित लोगों ने हाइवे जाम कर दिया। डेढ़ घंटे तक अफसर लोगों को समझाते रहे। इसके बाद जाकर लोगों ने हाइवे खोला।
मुरैना के प्रेमनगर निवासी वकील सिंह पुत्र आशाराम सीआरपीएफ में पदस्थ था। वर्तमान में वह दिल्ली मे संसद की सुरक्षा में तैनात कंपनी में बतौर कंपनी हवलदार के मेजर पर पदस्थ हैं।
सोमवार की शाम छुट्टी नहीं मिलने और लगातार ड्यूटी लगाने के आरोप लगाते हुए सीआरपीएफ के ही हवलदार अमन कुमार ने मुरैना के जवान वकील सिंह को गोलियों से भून दिया था। हवलदार अमन कुमार ने ताबड़तोड़ फायरिंग करते हुए 7 गोलियां वकील सिंह को मारी, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई थी।
बुधवार 13 अक्टूबर की सुबह वकील सिंह का शव मुरैना वैरियर स्थित रेस्ट हाउस परिसर में पहुंचा। जहां से शव को ले जाने आए हजारों युवा और मृतक के स्वजनों ने एमएस रोड पर मां-बेटी चौराहे के पास जाम लगा दिया। शव के साथ अाए सीएआरपीएफ के कमांडेंट व अन्य अफसर मृतक जवान के स्वजनों को समझाते रहे, लेकिन वह मृतक को शहीद का दर्जा देने, पीड़ित परिवार को मुआवजा, आरोपित हवलदार को फांसी की मांग कर रहे थे। मौके पर पहुंचे एसडीएम संजीव जैन, सीएसपी अतुल सिंह ने लोगों को समझाया तब, कहीं जाम खुला। जाम के दौरान डेढ़ घंटे तक एमएस रोड पर वाहनों की कतार लग गई।