नई दिल्ली . प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज इटली के अपुलिया में G-7 आउटरीच शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे. वह इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी के निमंत्रण पर 2 दिन की यात्रा पर कल रात इटली पहुंचे. भारत को इस सम्‍मेलन में आउटरीच देश के रूप में आमंत्रित किया गया है.

प्रधानमंत्री के अपनी यात्रा से इतर, जी-7 देशों के नेताओं के साथ-साथ आउटरीच देशों और अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के प्रतिनिधियों के साथ द्विपक्षीय बैठकें और चर्चा करने की भी उम्मीद है. G-7 समूह में कनाडा, जर्मनी, इटली, फ्रांस,जापान, ब्रिटेन और अमरीका शामिल हैं. 

PM मोदी ने इटली रवाना होने से पहले कहा कि सरकार भारत-इटली रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने और भारत-प्रशांत तथा भूमध्यसागरीय क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है.  मोदी ने कहा कि उन्हें खुशी है कि लगातार तीसरे कार्यकाल में उनकी पहली यात्रा जी-7 शिखर सम्मेलन के लिए हो रही है. उन्होंने कहा कि इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी की पिछले साल भारत की दो यात्राएँ द्विपक्षीय एजेंडे में गति और मजबूती लाने में सहायक रही हैं.

मोदी ने कहा कि आउटरीच सत्र में चर्चा के दौरान कृत्रिम बुद्धिमत्ता, ऊर्जा, अफ्रीका और भूमध्य सागर पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा. उन्होंने कहा कि यह भारत की अध्यक्षता में आयोजित जी-20 शिखर सम्मेलन और इस जी-7 शिखर सम्मेलन के परिणामों में अधिक तालमेल बढ़ाने और अल्‍प विकसित देशों के लिए महत्वपूर्ण मुद्दों पर विचार-विमर्श करने का अवसर होगा. श्री मोदी ने कहा कि वह शिखर सम्मेलन में भाग लेने वाले अन्य नेताओं से मिलने के लिए भी उत्सुक हैं.

मोदी पांचवीं बार सम्मेलन में हिस्सा लेंगे तो भारत इसमें 11वीं बार शिरकत करेगा. विदेश मंत्रालय के मुताबिक, प्रधानमंत्री शुक्रवार को सत्र से पहले फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक के साथ द्विपक्षीय बैठक करेंगे. वे जर्मनी के चांसलर ओलाफ स्कोल्ज, इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी, जापान के प्रधानमंत्री किशिदा के साथ भी बैठक करेंगे.