पश्चिम बंगाल की मौलाना अबुल कलाम आजाद यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी में मनोविज्ञान विभाग की एक महिला प्रोफेसर इस समय चर्चा में हैं जब उनका एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल होने लगा. वीडियो में वे लाल बनारसी साड़ी पहने हुए गले में फूलों की माला डाले हुए और एक छात्र से अपनी मांग में सिंदूर भरवाते हुए दिख रहे हैं. जो किसी शादी के रीति-रिवाज की तरह दिखाई देता हैं. सोशल मीडिया पर बहस छिड़ गई. इसके बाद प्रोफेसर ने एक वीडियो संदेश जारी कर अपील की कि इसे और नहीं शेयर किया जाए.

प्रोफेसर ने एक वीडियो जारी करते हुए कहा, “इस वीडियो से मेरी मानहानि तो हो ही रही है, लेकिन इससे छात्रों की मानसिक स्थिति भी प्रभावित हो रही है. मैंने तो खुद को संभाल लिया, लेकिन विद्यार्थियों पर इसका गहरा असर पड़ रहा है. कृपया इस वीडियो को और शेयर मत कीजिए.” उन्होंने बताया कि यह वीडियो एक नाटक के सीन का था जिसे विद्यार्थियों ने फ्रेशर्स प्रोग्राम के लिए बनाया था. उनका सवाल था कि, जब इसी नाटक के कई अन्य हिस्से भी बनाए गए थे, तो सिर्फ यही वीडियो क्यों वायरल किया गया?

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दूसरे प्रोफेसर पर लगाया साजिश का आरोप

प्रोफेसर ने कहा कि वीडियो को उनके सहकर्मी ने बदनाम करने के लिए लीक किया था “कोई विभाग प्रमुख बनने की चाहत में इतनी नीच हरकत कर सकता है, यह मैंने सोचा भी नहीं था!”

वीडियो को और न फैलाए: प्रोफेसर की गुहार

जिस छात्र को वीडियो में सिंदूर भरते देखा गया था, वह भी सवाल उठाया गया था. लेकिन प्रोफेसर ने स्पष्ट रूप से कहा कि छात्र पूरी तरह से निर्दोष है और मामले की गहन जांच की जरूरत है. कॉलेज प्रशासन ने भी इस मामले को गंभीरता से लिया है, इसलिए प्रोफेसर को छुट्टी पर भेज दिया गया है और एक जांच का आदेश दिया गया है. प्रोफेसर ने लोगों से अपील की है कि वे इस वीडियो को रिपोर्ट करें, न कि इसे और फैलाएं.

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यूनिवर्सिटी ने शुरू की जांच

यूनिवर्सिटी के एक्टिंग वीसी तापस चक्रवर्ती ने कहा कि एचओडी के खिलाफ जांच शुरू कर दी गई है और उनसे क्लास में अपने व्यवहार के बारे में स्पष्टीकरण मांगा गया है. उन्होंने मौखिक रूप से कहा कि उसने एक प्रोजेक्ट में काम किया था. हालाँकि, यूनिवर्सिटी प्रशासन ने यह नहीं बताया कि एचओडी को छुट्टी पर क्यों भेजा गया यदि मांग में सिंदूर लगाना और एक-दूसरे के गले में माला पहनाना पढ़ाई के एक प्रोजेक्ट का भाग था और पूरा मामला एक नाटक था.